सेना में क्वालिटी से समझौता नहीं : कमांडेंट

सेना में क्वालिटी से समझौता नहीं : कमांडेंटफोटो-सनत 6-अच्छा प्रदर्शन करनेवाले एक कैडेट को पुरस्कार देते ओटीए कमांडेंट लेफ्टिनेंट जनरल विनोद वशिष्ठ. 12 दिसंबर को होनेवाली पासिंगआउट परेड से पहले आयोजित हुआ कमांडेंट अवार्ड समारोह 11 दिसंबर को मल्टी एक्टिविटी डिसप्ले में सेना के जवान दिखायेंगे हैरतअंगेज करतबमुख्य संवाददाता, गयासेना में क्वालिटी से कोई समझौता […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 9, 2015 10:53 PM

सेना में क्वालिटी से समझौता नहीं : कमांडेंटफोटो-सनत 6-अच्छा प्रदर्शन करनेवाले एक कैडेट को पुरस्कार देते ओटीए कमांडेंट लेफ्टिनेंट जनरल विनोद वशिष्ठ. 12 दिसंबर को होनेवाली पासिंगआउट परेड से पहले आयोजित हुआ कमांडेंट अवार्ड समारोह 11 दिसंबर को मल्टी एक्टिविटी डिसप्ले में सेना के जवान दिखायेंगे हैरतअंगेज करतबमुख्य संवाददाता, गयासेना में क्वालिटी से कोई समझौता नहीं होता. जो काबिल है, जिसने हर क्षेत्र में क्वालिफाइ किया है, उसके लिए जगह है. ऑफिसर्स ट्रेनिंग एकेडमी (ओटीए) गया में फिलहाल 400 जेंटलमैन कैडेट्स ट्रेनिंग पा सकते हैं, लेकिन सीटें खाली रह जा रही हैं. इसकी खास वजह क्वालिटी के साथ समझौता नहीं करना ही है. ये बातें ओटीए कमांडेंट लेफ्टिनेंट जनरल विनोद वशिष्ठ (विशिष्ट सेवा मेडल) ने कहीं. वह ओटीए में शनिवार यानी 12 दिसंबर को होनेवाली पासिंगआउट परेड से पहले बुधवार को कमांडेंट अवार्ड समारोह के दौरान मीडियाकर्मियों को संबोधित कर रहे थे.कमांडेंट ने कहा कि गया में सेना के अधिकारियों की तीसरी ट्रेनिंग एकेडमी है. इसे अंतरराष्ट्रीय दर्जा प्राप्त ट्रेनिंग एकेडमी बनाने की दिशा में कार्य चल रहा है. करीब 1200 करोड़ रुपये के प्रोजेक्ट पर काम किया जाना है. प्रोजेक्ट बन कर तैयार है. सिर्फ रक्षा मंत्रालय से स्वीकृति मिलनी बाकी है. स्वीकृति मिलते ही काम शुरू कर दिया जायेगा. उन्होंने कहा कि पासिंगआउट परेड की पूर्व संध्या पर शुक्रवार को मल्टी एक्टिविटी डिसप्ले होना है. समारोह के मुख्य अतिथि सेना के वेस्ट इन कमांड के कमांडिंग इन चीफ लेफ्टिनेंट जनरल केजे सिंह होंगे.कई चुनौतियां हैं, हौसला बुलंद रखें कैडेट्सइससे पहले कमांडेंट अवार्ड देने के बाद ओटीए कमांडेंट ने कहा कि कैडेट्स हौसला बुलंद रखें. जो सेना में प्रवेश पा गये हैं, उन्हें चुनौतियों का सामना करते हुए ऊंचाइयां छूनी हैं. इसके लिए खुला आसमां है, आप चाहे जहां तक जायें. जो सेना में प्रवेश पाने से चूक गये, उन्हें भी हौसला बुलंद रखना है. फिर प्रयास करें, मंजिल जरूर मिलेगी. जीवन में हर कदम पर चुनौती है, इसे स्वीकार कर मुकाबला करना होगा. राष्ट्रीय ध्वज (तिरंगा) हमारी आन, बान व शान है. उसे हमेशा ऊंचा रखना है, यह हमारा परम कर्तव्य है. श्री वशिष्ठ ने पासआउट हो रहे कैडेट्स को मेहनत, लगन व इच्छाशक्ति के लिए बधाई दी और कामना की कि वे जीवन में और आगे बढ़ें.रिजांगला कंपनी को मिला कमांडेंट कंपनी बैनरकमांडेंट ने मंगलवार को ओवरऑल व विभिन्न क्षेत्रों में अच्छा प्रदर्शन करनेवाले कैडेट्स को पुरस्कार दिया. ट्रेनिंग के दौरान ओवरऑल चैंपियन रहा रिजांगला कंपनी को कमांडेंट कंपनी बैनर दिया गया. टेक्निकल इंट्री स्कीम (टीइएस) के कैडेट हरियाणा के ध्रुव कटारिया को ओवरऑल चैंपियन के लिए गोल्ड मेडल, सिल्वर मेडल जुबिट जस्टिन को, ब्रॉन्ज मेडल विकास सिंह को व स्पेशल कमीशंड जेंटलमैन कैडेट गुरेज कंपनी के अभिनव कुमार को ओवरऑल मेरिट के लिए रजत मेडल व तलवारबाजी में बेहतर प्रदर्शन के लिए ध्रुव कटारिया को शॉर्ड ऑफ ऑनर दिया गया.

Next Article

Exit mobile version