गया. नौ जुलाई की सुबह करीब 10 बजे टिकारी एसडीओ सुजीत कुमार को जान मारने की धमकी मिली थी. इस मामले को लेकर टिकारी एसडीओ ने कोंच थाना क्षेत्र के सिंदुआरी गांव के रहनेवाले विमलेश यादव के विरुद्ध कोंच थाने में प्राथमिकी दर्ज करायी थी. इस घटना को जिला प्रशासन ने गंभीरता से लिया और डीएम डॉ त्यागराजन व एसएसपी आशीष भारती के निर्देश पर रविवार को सिटी एसपी प्रेरणा कुमार व सदर एसडीओ किसलय श्रीवास्तव के नेतृत्व में छापेमारी की गयी. इस दौरान मौजूद एएसपी पारसनाथ साहू, सिटी डीएसपी धर्मेंद्र कुमार, डीएसपी विधि-व्यवस्था खुर्शीद आलम के नेतृत्व में अलग-अलग टीमों में बंट कर सेंट्रल जेल के हर वार्ड का जायजा लिया. साथ ही वहां बंद कैदियों से पूछताछ की. लेकिन, पुलिस टीम को वह मोबाइल फोन नहीं मिला, जिससे सेंट्रल जेल से विमलेश यादव ने एसडीओ को धमकी दी थी. हालांकि, छापेमारी टीम में शामिल मगध मेडिकल थानाध्यक्ष सह प्रशिक्षु डीएसपी अनिल कुमार, चंदौती थानाध्यक्ष सह प्रशिक्षु डीएसपी फैज सबा आलम, कोतवाली थानाध्यक्ष आशीष कुमार झा, विष्णुपद थानाध्यक्ष धर्मेंद्र कुमार यादव, डेल्हा थानाध्यक्ष देवराज इंद्र ने बारी-बारी से एक-एक वार्ड की तलाशी ली. विशेष रूप से जेल में बंद विमलेश यादव के वार्ड की भी तलाशी ली और टिकारी एसडीओ काे धमकी देने के मामले को लेकर पूछताछ की, लेकिन वह मोबाइल फोन नहीं मिला. सेंट्रल जेल में घंटों हुई छापेमारी के बाद भी पुलिस टीम को वह मोबाइल फोन नहीं मिल सका, जिससे टिकारी एसडीओ को धमकी दी गयी था. लेकिन, अब पुलिस के वरीय अधिकारी और एक्टिव हो गये हैं. अब उस मोबाइल फोन का कॉल डिटेल रेकॉर्ड निकालने की तैयारी है, ताकि यह पता चल सके कि उक्त मोबाइल फोन नंबर में लगा सिम किस व्यक्ति के नाम से है और जिस वक्त धमकी दी गयी, उस वक्त उस मोबाइल फोन का लोकेशन क्या था. साथ ही उस मोबाइल फोन से कहां-कहां बातचीत हुई है. छापेमारी के दौरान सिटी एसपी ने जेल अधीक्षक के कार्यालय में जेल अधीक्षक व जेलर सहित उनकी टीम में शामिल एएसपी, डीएसपी व इंस्पेक्टर रैंक के पुलिस पदाधिकारियों के साथ बैठक की. सिटी एसपी ने जेल अधीक्षक व जेलर को निर्देश दिया कि हाल के दिनों में गृह कारा विभाग में हुए ट्रांसफर पोस्टिंग के तहत सेंट्रल जेल व जेलर के पद पर जल्द ही नये अधिकारी आसीन हुए हैं. अपने कामकाज में और सख्ती लायें और जेल में बंद कुख्यातों व सजाफ्याता पर विशेष नजर रखें. हाल के वर्षों में सेंट्रल जेल से किसी वरीय अधिकारी को धमकी देने का मामला नहीं आया था. लेकिन, नौ जुलाई की सुबह टिकारी एसडीओ को दी गयी धमकी से संबंधित घटना काफी संवेदनशील है. इस मामले में उच्चस्तरीय जांच की जा रही है.
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