महाबोधि मंदिर में सात अक्तूबर से शुरू होगी पूजा-प्रार्थना
तीन नवंबर को महाकठिन चीवरदान समारोह, दो से 13 दिसंबर तक इंटरनेशनल त्रिपिटक चैंटिंग
तीन नवंबर को महाकठिन चीवरदान समारोह, दो से 13 दिसंबर तक इंटरनेशनल त्रिपिटक चैंटिंग बोधगया. विश्व शांति की कामना के साथ तथागत बुद्ध की ज्ञानस्थली विश्व धरोहर महाबोधि मंदिर परिसर में सात अक्तूबर से पूजा-प्रार्थना का सिलसिला शुरू हो जायेगा. बोधगया मंदिर प्रबंधकारिणी समिति ने बोधगया में आयोजित होने वाले सालाना पूजा समारोहों का शेड्यूल जारी कर दिया है. इसके मुताबिक सर्वप्रथम वियतनाम की एक भिक्षुणी संघ की ओर से पवित्र बोधिवृक्ष के नीचे पूजा-अर्चना व संघदान का आयोजन कराया जायेगा. इसके बाद आठ व 17 अक्तूबर को भी वियतनाम के दूसरे संघों की ओर से प्रार्थना सभा के साथ बौद्ध भिक्षुओं को संघदान कराया जायेगा. इसके बाद 18 अक्तूबर को बोधगया स्थित म्यांमार के महाबोधि मेडिटेशन सेंटर की ओर से मंदिर परिसर में श्रद्धालुओं के लिए साधना का कार्यक्रम आयोजित किया गया है. 25 से 31 अक्तूबर तक को वियतनाम के बुद्धिस्ट संघ की ओर से बुद्ध दीक्षा समारोह का आयोजन किया जायेगा. एक से सात नवंबर तक कोरिया के बौद्ध श्रद्धालुओं व भिक्षुओं की ओर से पूजा-अर्चना का कार्यक्रम तय है. इसी बीच तीन नवंबर को महाबोधि मंदिर प्रबंधन समिति की ओर से मंदिर परिसर में महाकठिन चीवरदान समारोह का आयोजन किया जायेगा. कार्यक्रमों का सिलसिला जारी रखते हुए सिंगापुर व भूटान की संस्थाओं की ओर से मंदिर परिसर में पूजा-अर्चना का आयोजन किया जायेगा. पूजा की कड़ी में जिसे बड़े आयोजन के रूप में देखा जाता है, इसमें शामिल 19वां इंटरनेशनल त्रिपिटक चैंटिंग समारोह का आयोजन दो दिसंबर से 13 दिसंबर तक किया जायेगा. इसमें विभिन्न 12 से ज्यादा देशों के श्रद्धालु व भिक्षु शामिल होते हैं व तथागत बुद्ध के उपदेश जिसे त्रिपिटक के रूप में जाना जाता है, उसका पाठ करते हैं. त्रिपिटक चैंटिंग के समापन के साथ ही काग्यू मोनलम चेन्मो का शुभारंभ 14 दिसंबर को होगा. इसका समापन 23 दिसंबर को होगा. 25 दिसंबर से तीन जनवरी तक ग्रेट शाक्या मोनलम का आयोजन व अन्य संस्थानों की ओर से अलग-अलग तिथि में पूजा समारोह का आयोजन जारी रहेगा. बोधगया के पर्यटन सीजन का आखिरी व बड़ी पूजा में शुमार निगमा मोनलम चेन्मो का आयोजन 29 जनवरी से सात फरवरी तक होगा. इसमें भी हजारों की संख्या में बौद्ध लामा व श्रद्धालु शामिल होते हैं. बौद्ध महोत्सव की तिथि तय नहीं इसी दौरान बोधगया में बौद्ध महोत्सव का भी आयोजन किया जाता है. हालांकि, फिलहाल बौद्ध महोत्सव के आयोजन की तिथि तय नहीं की गयी है. दिसंबर के अंत में बौद्ध धर्मगुरु दलाइलामा का भी बोधगया आगमन होता है और यहां कालचक्र मैदान में दलाईलामा का तीन दिवसीय टीचिंग कार्यक्रम भी आयोजित होता है. फरवरी में अन्य संस्थानों की ओर से भी पूजा आयोजित कराने का शेड्यूल प्राप्त कर लिया गया. अंत में बोधगया स्थित ड्रुक नवांग थूबतन चोलिंग मोनास्टरी द्वारा बुद्ध के अभय मंत्र का पाठ किया जायेगा. यह दो मार्च से 15 मार्च तक आयोजित किया जायेगा. बोधगया मंदिर प्रबंधकारिणी समिति की सचिव डॉ महाश्वेता महारथी व महाबोधि मंदिर के मुख्य भिक्षु प्रभारी भिक्खु चालिंदा ने मंदिर परिसर में आयोजित होने वाले सालाना पूजा समारोहों का शेड्यूल जारी किया है.
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