बिहार में निबंधन कार्यालय से दस्तावेज की सत्यापित कॉपी पाना हुआ महंगा, कागज खोजने का भी चढ़ा रेट
बिहार के निबंधन कार्यालयों के रिकॉर्ड रूम में रखे दस्तावेजों को खोजना और उसकी सत्यापित (सर्टिफाइड) कॉपी लेना अब महंगा हो गया है. मद्य निषेध, उत्पाद एवं निबंधन विभाग के अपर मुख्य सचिव केके पाठक के हस्ताक्षर से इससे संबंधित अधिसूचना जारी कर दी गयी है.
पटना. बिहार के निबंधन कार्यालयों के रिकॉर्ड रूम में रखे दस्तावेजों को खोजना और उसकी सत्यापित (सर्टिफाइड) कॉपी लेना अब महंगा हो गया है. मद्य निषेध, उत्पाद एवं निबंधन विभाग के अपर मुख्य सचिव केके पाठक के हस्ताक्षर से इससे संबंधित अधिसूचना जारी कर दी गयी है. विभाग के मुताबिक दस्तावेजों को देखने, खोजने व कॉपी देने की राशि का सरलीकरण किया गया है.
अधिसूचना जारी
अधिसूचना के मुताबिक किसी एक नाम से संबंधित एक साल तक के दस्तावेज को खोजने या देखने के लिए अब सौ रुपये का एकमुश्त भुगतान करना होगा. हालांकि किसी एक नाम से जुड़े एक साल से अधिक के दस्तावेज को खोजने या देखने के लिए अधिकतम हजार रुपये तक की राशि का भुगतान करना पड़ सकता है.
न्यूनतम 20 रुपये लगता था
यह राशि रजिस्ट्रेशन बुक एक, तीन और चार के साथ ही किसी डॉक्यूमेंट, रजिस्टर या फाइल के पन्नेको देखने अथवा खोजने पर भी लागू होगा. पहले इसके लिए न्यूनतम 20 रुपये से लेकर अधिकतम सौ रुपये लगता था. लेकिन अब इस रेट को बढ़ा दिया गया है.
वहीं, रजिस्ट्री से पहले या उसके बाद के किसी संपूर्ण दस्तावेज, इंट्री अथवा उसके कारणों की सत्यापित कॉपी हासिल करने के लिए अब एकमुश्त पांच सौ रुपये देने होंगे. पहले इसके लिए प्रति पृष्ठ की दर से भुगतान करना होता था. इसमें भी बदलाव किया गया है.