अखंड सौभाग्य के लिए किया तीज व्रत

आस्था. शिव मंदिरों में पूजा-अर्चना को उमड़ी श्रद्धालुओं की भीड़ गोपालगंज : हरितालिका व्रत गुरुवार को जिले में पारंपरिक रीति-रिवाज से किया गया. सुहागिनों ने गौरी-गणेश की पूजा कर पति की दीर्घायु को लेकर भगवान से प्रार्थना की. सुहागिनों ने निर्जला उपवास रखा. व्रत को लेकर सुहागिनों में काफी उत्साह देखा गया. घरों में बालू […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 25, 2017 6:17 AM

आस्था. शिव मंदिरों में पूजा-अर्चना को उमड़ी श्रद्धालुओं की भीड़

गोपालगंज : हरितालिका व्रत गुरुवार को जिले में पारंपरिक रीति-रिवाज से किया गया. सुहागिनों ने गौरी-गणेश की पूजा कर पति की दीर्घायु को लेकर भगवान से प्रार्थना की. सुहागिनों ने निर्जला उपवास रखा. व्रत को लेकर सुहागिनों में काफी उत्साह देखा गया. घरों में बालू व मिट्टी से भगवान गणेश, मां गौरी और भगवान भोलेनाथ की पूजा-अर्चना की गयी. इस दौरान ब्राह्मणों से हरितालिका व्रत को लेकर कथा का श्रवण किया गया. सुहागवती महिलाओं ने उपवास रख कर तीज व्रत किया.
इस व्रत में महिलाओं ने नये-नये परिधानों से सुसज्जित हो, सोलहों शृंगार कर भगवान शंकर तथा पार्वती की पूजा-अर्चना की और अपने पति के दीर्घायु होने की मन्नत मांगी. देर रात तक इस पर्व को लेकर महिलाओं ने मंगल गीत गाये. शहर के शिव मंदिर, थावे मंदिर, जादोपुर स्थित शिव मंदिर समेत अन्य मंदिरों में पूजा-अर्चना को भीड़ देर शाम तक जुटी रही.
तीज को लेकर पौराणिक कथा है कि देवी पार्वती ने देवाधिदेव महादेव को पति के रूप में वरण करने के लिए जंगल में कठोर तपस्या की. लगातार कई वर्षों तक बिना अन्न-जल ग्रहण किये ही देवी पार्वती तप करती रही. पार्वती की तपस्या से प्रसन्न होकर भगवान शंकर ने पत्नी के रूप में पार्वती को स्वीकार करने का वरदान दिया.
कुचायकोट. प्रखंड क्षेत्र में हरितालिका व्रत काफी धूमधाम से मनाया गया. भाद्रपद शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को मनाये जानेवाले तीज पर्व को लेकर सुहागिन महिलाओं ने अपने पति की दीर्घायु की कामना एवं अपने परिवार की सुख-समृद्धि के लिए व्रत किया. व्रत को लेकर महिलाएं सुबह से अपने घर की साफ-सफाई में लग गयी थीं. दिन भर उन्होंने निर्जला उपवास कर शाम को भगवान शिव, माता पार्वती व श्री गणेश की पूजा-अर्चना की.
मांझा. प्रखंड के विभिन्न गावों में सुहागिन महिलाओं ने अखंड सौभाग्य की कामना को लेकर श्रद्धा व उत्साह के साथ हरितालिका व्रत किया. पौ फटते ही सुहागिन महिलाएं पूजा-अर्चना की तैयारी में जुट गयी. खासकर नवविवाहिता महिलाओं में काफी उत्साह देखा गया. इस अवसर पर सुहागिन महिलाओं ने सज-धज कर भगवान शिव-पार्वती की पूजा अर्चना की. उन्होंने बालू से स्तूप बना मां गौरी व भगवान शंकर की पूजा-अर्चना कर मन्नतें मांगी. निर्जला उपवास कर रातभर जागरण कर भगवान शिव व माता पार्वती की पूजा – अर्चना के साथ गीत व भजन में तल्लीन रहीं. पूजा के दौरान केला, सेव, खीरा, अमरूद, वेलपत्र, चंदन पुष्प समेत विभिन्न प्रकार की सामग्री को अर्पण किया गया.

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