युवतियों का लखनऊ में भी पुलिस को नहीं मिला सुराग

गोपालगंज : अल्पावास गृह गोपालगंज से दो युवतियों के गायब होने के मामले में हर स्तर पर पर्दा डाला गया. युवतियों के गायब होने के मामले में तत्कालीन अधिकारियों ने कार्रवाई करने के बजाय इसकी लीपापोती करने में जुट गये. अब मुजफ्फरपुर बालिका गृह का स्कैंडल सामने आने के बाद इस मामले की अब दोबारा […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 14, 2018 3:53 AM

गोपालगंज : अल्पावास गृह गोपालगंज से दो युवतियों के गायब होने के मामले में हर स्तर पर पर्दा डाला गया. युवतियों के गायब होने के मामले में तत्कालीन अधिकारियों ने कार्रवाई करने के बजाय इसकी लीपापोती करने में जुट गये. अब मुजफ्फरपुर बालिका गृह का स्कैंडल सामने आने के बाद इस मामले की अब दोबारा जांच में जब पुलिस जुटी है

तो संलिप्त अधिकारियों के पसीने छूटने लगे हैं. कब किस पर गाज गिर जाये, कहना मुश्किल है. हालांकि पुलिस की प्राथमिकता युवतियों की बरामदगी है. युवतियों की बरामदगी होते ही यहां भी मुजफ्फरपुर की तरह एक बड़ा स्कैंडल का पर्दाफास हो सकता है. जानकार सूत्रों की मानें तो पुलिस की जांच पर संलिप्त लोगों की नजर लगी हुई है. जांच को बाधित करने का भी सामर्थ्य इनमें है. पहले ही इस मामले की लीपापोती हो चुकी है. इसे ध्यान में रखते हुए कांग्रेस की तरफ से सीबीआई जांच की मांग की जा चुकी है. कुछ संगठन निष्पक्ष जांच की मांग कर रहे हैं. हालांकि डीएम अनिमेष कुमार पराशर इस पूरे प्रकरण को लेकर गंभीर हैं. प्रशासनिक स्तर पर डीएम कार्रवाई में जुटे हैं.

20 दिनों की जांच में पुलिस के हाथ खाली : अल्पावास गृह से गायब युवतियों की तलाश में नगर थाने की एक पुलिस टीम सब इंस्पेक्टर अनिल कुमार सिंह के नेतृत्व में पिछले 20 दिनों से जांच कर रही है. पुलिस स्थानीय स्तर के बाद मुंबई, यूपी के देवरिया, गोरखपुर अब लखनऊ में पड़ताल कर रही है. 20 दिनों में पुलिस के हाथ खाली हैं. अब पुलिस मुंबई के बाद यूपी में छापेमारी कर रही है. नगर थानाध्यक्ष रवि कुमार की मानें तो टीम अभी यूपी में कार्रवाई में जुटी है. जल्द ही ठोस नतीजे मिलने की उम्मीद है.

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