इराक में फंसे युवकों में 10 सकुशल गोपालगंज लौटे

भोरे, गोपालगंजः इराक में फंसे युवकों में 10 सकुशल गोपालगंज लौट गये हैं. घर पहुंचनेवाले ये वही युवक हैं, जिन्होंने गोपालगंज के डीएम को इ-मेल कर अपनी रिहाई की गुहार लगायी थी. इराक में जिंदगी को संवारने गये भारतीय मजदूरों के साथ वहां गुलामों-सा सलूक किया जा रहा है. पानी की एक-एक बूंद के लिए […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | June 27, 2014 4:33 AM

भोरे, गोपालगंजः इराक में फंसे युवकों में 10 सकुशल गोपालगंज लौट गये हैं. घर पहुंचनेवाले ये वही युवक हैं, जिन्होंने गोपालगंज के डीएम को इ-मेल कर अपनी रिहाई की गुहार लगायी थी. इराक में जिंदगी को संवारने गये भारतीय मजदूरों के साथ वहां गुलामों-सा सलूक किया जा रहा है. पानी की एक-एक बूंद के लिए तरस रहे भारतीय किसी तरह अपने वतन लौटने का इंतजार कर रहे हैं.

इराक स्थित भारतीय दूतावास भी कारगर कदम नहीं उठा रहा. इधर, कंपनी के लोग वापस भारत भेजने के लिए 15 सौ अमेरिकन डॉलर की मांग कर रहे हैं. यह आपबीती सुनायी इराक के बसरा शहर से लौट कर आये भोरे थाने के लामीचौर बंधुछापर टोला निवासी संजय पांडेय ने. इराक से किसी तरह निकल कर आये संजय पांडेय से जब वहां कि स्थिति जानने की कोशिश की गयी, तो वहां बिताये गये दिनों को याद कर उनकी आंखें छलक आयीं. पूर्व मुखिया ऋषिदेव पांडेय के पुत्र संजय कुमार पांडेय फरवरी में इराक के बसरा शहर में स्थित अल मनाही, अल मुतैदा कंपनी में काम करने गये थे. वहां पहुंचने के बाद उनका वेतन सीधे आधा कर दिया गया. इन लोगों को बसरा यूनिवर्सिटी और गरमा में रखा गया.

संजय ने बताया कि भारतीयों के साथ वहां गुलामों की तरह व्यवहार किया जा रहा है. खाने में चावल, उड़द की दाल व चार दिनों पर सूखी रोटी दी जाती थी. पानी के लिए लोग तरसते रहते थे. चरमपंथियों की लड़ाई शुरू होने के बाद स्थिति और भी बदतर हो गयी. कंपनी के कार्यालय में कोई भी भारतीय अपने घर लौटने की बात कहता, तो उससे 15 सौ अमेरिकी डॉलर की मांग की जाती. इतनी रकम नहीं देने के बाद वहां से वापसी संभव नहीं है. अगर किसी भारतीय ने वहां की स्थिति पर कहीं भी चर्चा की, तो उसकी बेतहाशा पिटाई की जाती थी. पांडेय ने बताया कि काम करते वक्त अगर किसी को चोट लग जाये, तो उसके लिए दवा की व्यवस्था भी नहीं है. जिन लोगों द्वारा 15 सौ अमेरिकन डॉलर दिये जा रहे हैं, उन्हें ही पासपोर्ट लौटाया जा रहा है.

संजय ने बताया कि बंधुछापर के दीपक कुमार सिंह, प्रदीप कुमार सिंह व रवींद्र यादव सहित यूपी के भटनी के 1, भोरे के सिसई के 1, फुलवरिया के मिश्रबतराहां के दो और मैरवां थाने के छोटका मांझा के एक युवक लौटने के प्रयास में हैं.

Next Article

Exit mobile version