जयंती मना जेपी सद्धिांतों को भुनायेगी भाजपा
जयंती मना जेपी सिद्धांतों को भुनायेगी भाजपा विपक्ष ने कहा, भाजपा की जेपी जयंती नौटकी, विचारों से नहीं कोई सरोकार, महज चुनावी स्टंट11 अक्तूबर को देश भर में मनेगी जेपी जयंती विशेष संवाददाता, पटना बिहार विधान सभा के इस चुनाव में लोकनायक की 113 वीं जयंती हाट केक बन गयी है. भाजपा ने लोकनायक जय […]
जयंती मना जेपी सिद्धांतों को भुनायेगी भाजपा विपक्ष ने कहा, भाजपा की जेपी जयंती नौटकी, विचारों से नहीं कोई सरोकार, महज चुनावी स्टंट11 अक्तूबर को देश भर में मनेगी जेपी जयंती विशेष संवाददाता, पटना बिहार विधान सभा के इस चुनाव में लोकनायक की 113 वीं जयंती हाट केक बन गयी है. भाजपा ने लोकनायक जय प्रकाश नारायण की 113 वीं जयंती के अवसर पर कई कार्यक्रम घोषित किये हैं. इस मौके पर देश की राजधानी दिल्ली, सभी प्रदेश की राजधानी और जिला मुख्यालयों पर भी जेपी जयंती समारोह आयोजित किये जायेंगे. चुनाव के लिए पटना में कैंप कर रहे भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह के 11 अक्तूबर रविवार को उनकी जन्म स्थली सिताब दियारा जायेंगे और उनकी याद में आयोजित समारोह मेें भाग लेंगे. पहले चरण के मतदान के ठीक एक दिन पहले जेपी जयंती को भाजपा ने देश के सभी राज्यों के राजधानियों में सेव द डेमोक्रेसी नाम से मनाने की औपचारिक घोषणा की है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एक एनजीओ की ओर से आयोजित जयंती समारोह में दिल्ली के विज्ञान भवन में उपस्थित होंगे. विज्ञान भवन में आयोजित समारोह में केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली, वेंकैया नायडू और पटना से सुशील कुमार मोदी को आमंत्रित किया गया है. सूत्र बताते हैं कि चुनाव प्रचार अभियान में लगे होने के कारण सुशील कुमार मोदी के इस समारोह में भाग नहीं लेंगे. सेव डेमोक्रेसी डे के मौके पर इस दिन आपातकाल के दौरान मीसा में गिरफ्तार किये गये लोगों को एकत्र कर कांग्रेस पर प्रहार किया जायेगा. इस समारोह में जेपी को गिरफ्तार किये जाने, मीडिया पर सेंशरशिप लगाने तथा भ्रष्टाचार पर जेपी के प्रहार जैसे कार्यों को याद किया जायेगा. भाजपा ने आदर्श आचार संहिता का मामला न बन जाये, इसके लिए देश के सभी राज्यों की राजधानियों में भी लोकनायक की जयंती समारोह आयोजित करने का फैसला लिया है. राजनीतिक हलकों में इस बात की चर्चा है कि कांग्रेस मुक्त भारत का नारा देने वाली भाजपा इस बार बिहार चुनाव में लोकनायक की छवि को भुनाना चाहती है. इसके सेव डेमोक्रेसी डे के मौके पर लोगों को बताया जायेगा कि कांग्रेस ने चालीस साल पहले आपात काल लगाकर किस प्रकार लोकतंत्र की हत्या की थी. नरेंद्र मोदी की सरकार ने जेपी को याद करते हुए उनके पैतृक गांव में स्मारक आदि के निर्माण का पहले ही निर्णय ले चुकी है. सिताब दियारा को आदर्श ग्राम योजना के तहत गोद भी लिया गया है. दूसरी ओर जेपी आंदोलन के दिनों में मुखर रहे पूर्व सांसद शिवानंद तिवारी ने कहा कि कांग्रेस मुक्त का नारा देने वाले प्रधानमंत्री नरेेंद्र मोदी लोकतंत्र का अपमान करना चाहते हैं. उनका तर्क है कि जब हम सबने कांग्रेस को सत्त्ता से हटाने का निर्णय लिया था उस समय कांग्रेस की हैसियत लोकसभ में तीन सौ से साढे तीन सौ सांसदों की हुआ करती थी. इस अभियान में समाजवादियों के साथ वाम दल और तत्कालीन जनसंघ भी रही थी. लेकिन, अब कांग्रेस की संख्या महज 44 सांसदों की रह गयी है. ऐसे में कांग्रेस मुक्त भारत में विपक्ष को खत्म कर देना कहीं से भी उचित नहीं है. उनका कहना है कि चुनाव का मौका है इसलिए भाजपा लोकनायक के नाम से ऐसे आयोजन कर रही है. जबकि, जेपी की विचारधारा से कभी जनसंघ और भाजपा की आस्था नहीं रही. इधर, भाजपा की ओर से जेपी जयंती की तैयारी पूरजोर तरीके से कर रही है. वशिष्ठ नारायण सिंह, जदयू के प्रदेश अध्यक्ष और आंदोलन के नेताभाजपा का लोकनायक की आइडियोलोजी से कभी सरोकार नहीं रहा. लोकनायक की दृष्टि, उनके विचार, उनकी विचारधारा सबसे भाजपा परहेज करती रही. अब चुनावी लाभ के लिए उनकी जयंती मनाने का नाटक कर रही है. शिवानंद तिवारी, जेपी आंदोलन के नेता और पूर्व सांसदमुझे इस बार पहली बार लोकनायक के जयंती समारोह में भाग लेने के लिए किसी भी दल ने आमंत्रित नहीं किया है. मैं सक्रिय राजनीति से अलग हूं. इसलिए भी ऐसा हो सकता है. लेकिन भाजपा सिर्फ चुनावी लाभ के लिए जेपी की जयंती मना रही है. उसे जेपी के आइडियोलोजी से कुछ भी लेना देना नहीं है.