गरीबों का टूट रहा रोजगार का सपना

गरीबों का टूट रहा रोजगार का सपना मनरेगा में भी नहीं मिल रहा रोजगार छह प्रखंडों में नहीं दिला सके सौ दिनों का रोजगार 76 मजदूरों का सपना हुआ साकार फोटो नं-संवाददाता, गोपालगंजअब मनरेगा योजना भी गरीबों का सपना साकार नहीं कर पा रहा है. गरीबों में रोजगार पाने की उम्मीद टूटने लगी है. ऐसे […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 10, 2015 7:13 PM

गरीबों का टूट रहा रोजगार का सपना मनरेगा में भी नहीं मिल रहा रोजगार छह प्रखंडों में नहीं दिला सके सौ दिनों का रोजगार 76 मजदूरों का सपना हुआ साकार फोटो नं-संवाददाता, गोपालगंजअब मनरेगा योजना भी गरीबों का सपना साकार नहीं कर पा रहा है. गरीबों में रोजगार पाने की उम्मीद टूटने लगी है. ऐसे तो सरकार के द्वारा मनरेगा योजना के तहत सभी गरीबों को सौ दिनों रोजगार की गारंटी दी गयी है. लेकिन, गरीबों को रोजगार दिलाने में मनरेगा जैसी महत्वकांक्षी योजना विफल साबित होती दिख रही है. ऐसे तो जिले के 234 पंचायतों में गरीबों का सर्वे करा कर मनरेगा योजना के तहत कार्य किये जाने को लेकर मजदूरों के जॉब कार्ड बनाये जाने से लेकर भुगतान के लिए बैंक खाता भी खोलवाये गये. गरीबों को रोजगार दिलाने के लिए पंचायत रोजगार सेवक से लेकर मुखिया और पंचायत प्रतिनिधि भी लगे रहते हैं. ताकि, पंचायत क्षेत्र के सभी गरीबों को सौ दिनों का रोजगार दिया जा सके. समय-समय पर जिले के वरीय अधिकारियों के द्वारा मनरेगा योजना की समीक्षा भी की जाती है. ताकि, हर हाल में मजदूरों को सौ दिनों का रोजगार मिल सके. फिर भी मजदूरों को रोजगार नहीं मिल रहा है. जेसीबी से कराया जाता है कार्य मनरेगा योजना के तहत कई जगहों पर जेसीबी मशीन से भी कार्य कराये जाते हैं. योजना के कार्यों को जल्द पूर्ण किये जाने को लेकर विभाग के अधिकारी से लेकर कर्मी तक कार्यों को मशीन से ही कराना बेहतर मानते हैं. नतीजा यह होता है कि गरीबों को रोजगार नहीं मिल पाता है. एक नजर में प्रखंडवार मजदूरों की स्थिति प्रखंड मजदूरों की संख्या सौ दिनों का रोजगार उचकागांव 18812 00कुचायकोट 51336 01कटेया 53886 06गोपालगंज 3218 00थावे 10781 05पंचदेवरी 45808 03फुलवरिया 59688 14बैकुंठपुर 505776 15बरौली 27198 00विजयीपुर 10067 00भोरे 89879 18मांझा 46795 14सिधवलिया 52933 00हथुआ 30332 00कुल 551309 76

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