बरौली में भाई ने किया रश्तिे का खून, भावज अस्पताल में

बरौली में भाई ने किया रिश्ते का खून, भावज अस्पताल में महज सात दिन पूर्व शिमला से घर आया था शंभु हत्या के बाद बिखर गया रीना का पूरा परिवार चार बच्चों का छिन गया पिता का सहारा, टूटा दुखों का पहाड़संवाददाता, बरौली महज सात दिन पूर्व शिमला से घर आया था शंभु राम. घर […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | January 17, 2016 6:32 PM

बरौली में भाई ने किया रिश्ते का खून, भावज अस्पताल में महज सात दिन पूर्व शिमला से घर आया था शंभु हत्या के बाद बिखर गया रीना का पूरा परिवार चार बच्चों का छिन गया पिता का सहारा, टूटा दुखों का पहाड़संवाददाता, बरौली महज सात दिन पूर्व शिमला से घर आया था शंभु राम. घर के कई कार्यों को निबटा कर 25 जनवरी को पुन: वापस लौट जाना था. ऊपर वाले को कुछ और ही मंजूर था. शंभु की हत्या के बाद पूरा परिवार बिखर गया है. शंभु की सात वर्षीया पुत्री अंजनी, दो वर्षीय बेटा अंकित तथा चार माह की छोटी बच्ची की आंखों से आंसुओं की धार नहीं थम रही है. अब इन बच्चों को कौन संभालेगा इसको लेकर चिंता बनी है. वहीं उसकी पत्नी जीवन और मौत से जूझ रही है. इस घटना से बलहा गांव के लोग आश्चर्यचकित हैं. किसी को यकीन नहीं हो रहा है कि आखिर भाई ने ही निश्ते का खून क्यों कर डाला. कई लोगों का यह भी कहना है कि जितेंद्र राम ने नशे में धुत होकर वारदात को अंजाम दिया है.बहन के घर रहती थी विकलांग युवती मूल रूप से सीवान के जामो थाना क्षेत्र के सुरतापुर की रहनेवाली विकलांग शिवकली (नाम बदला हुआ) अपनी बहन रीना के साथ उसके घर वर्षों से रह रही थी. उस पर पहले से ही जितेंद्र की बुरी नजर लगी हुई थी. जितेंद्र उसे हवस का शिकार बनाना चाहता था. उसकी इज्जत पर हाथ शनिवार की रात डालने का प्रयास किया गया, जिसका विरोध करने पर उसके बहनोई शंभु राम की हत्या हो गयी. अब मामा ही होंगे सहारा !शंभु राम की हत्या की खबर मिलते ही उसका साला सीवान से बलहा पहुंच गया. अस्पताल में बहन का इलाज करा रहा है. पुलिस ने जब पोस्टमॉर्टम करा कर शव को सौंपा, तो पूरे गांव में मातमी सन्नाटा पसर गया. आस-पड़ोस के लोगों के प्रयास से दाह-संस्कार की प्रक्रिया शुरू हुई.

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