पुलिस और उत्पाद विभाग के अफसरों से की गयी पूछताछ
गोपालगंज : शराब से हुई मौत की उच्चस्तरीय जांच शुरू हो गयी है. शुक्रवार को निबंधन एवं उत्पाद विभाग के प्रधान सचिव केके पाठक इसकी जांच करने पहुंचे. गोपालगंज परिसदन में तीन घंटे तक जिले के वरीय अधिकारियों के अलावा उत्पाद, स्वास्थ्य एवं पुलिस के अधिकारियों से अलग-अलग बयान दर्ज किया गया. प्रधान सचिव दोपहर […]
गोपालगंज : शराब से हुई मौत की उच्चस्तरीय जांच शुरू हो गयी है. शुक्रवार को निबंधन एवं उत्पाद विभाग के प्रधान सचिव केके पाठक इसकी जांच करने पहुंचे. गोपालगंज परिसदन में तीन घंटे तक जिले के वरीय अधिकारियों के अलावा उत्पाद, स्वास्थ्य एवं पुलिस के अधिकारियों से अलग-अलग बयान दर्ज किया गया.
प्रधान सचिव दोपहर 1.30 बजे परिसदन में पहुंचे, जहां 3.30 बजे तक पूरे मामले की गहराई से पड़ताल की गयी. इस दौरान उन्होंने नगर थाने में निलंबित किये गये पुलिस अफसरों को बुला कर उनका बयान दर्ज किया. उत्पाद विभाग के अधीक्षक प्रिय रंजन से बात करने के बाद शहरी क्षेत्र में तैनात उत्पाद विभाग के सब इंस्पेक्टर मनोज कुमार को बुला कर प्रधान सचिव ने पूछा कि कितनी बार खजुरबानी में छापेमारी की गयी. सब इंस्पेक्टर ने बताया कि कई बार रेड किया गया था.
वहां कुछ नहीं मिला. उसके बाद नगर थाने के निलंबित इंस्पेक्टर डीपी आलोक, सब इंस्पेक्टर अमित कुमार, एएसआइ मिथिलेश सिंह समेत पुलिस के कई अधिकारियों को बुला कर बारी-बारी से उनका बयान को दर्ज किया गया. उन्होंने बयान लेने के बाद डीएम राहुल कुमार एवं एसपी रवि रंजन कुमार के साथ बैठ कर पूरे घटनाक्रम की समीक्षा की. प्रशासन की तरफ से पूरी स्थिति की जानकारी दी गयी. इस दौरान सिविल सर्जन से भी पोस्टमार्टम एवं इलाज आदि की जानकारी उन्होंने लिया.
उत्पाद विभाग से लेकर अस्पताल तक रही बेचैनी : उत्पाद विभाग के अधीक्षक प्रिय रंजन से लेकर इंस्पेक्टर संजय चौधरी, सब इंस्पेक्टर राजीव कुमार सिन्हा, मनोज कुमार आदि की सांसें अंटकी हुई थीं.
कब कार्रवाई हो जाये कहना मुश्किल था. अधिकारियों की धड़कन बढ़ गयी थी. पल – पल की स्थिति पर उत्पाद विभाग के अधिकारी नजर रख रहे थे. उधर, सदर अस्पताल में केके पाठक के आने की संभावना को देख हड़कंप मच गया. हालांकि वे खजुरबानी से ही पटना लौट गये.