गोपालगंज. अनुसूचित जाति (एससी) और अनुसूचित जनजाति (एसटी) के आरक्षण को सब कैटेगरी बनाने वाले सुप्रीम कोर्ट के फैसले को लेकर सियासी संघर्ष तेज हो गया है. अदालत के फैसले के खिलाफ बुधवार को भारत बंद का ऐलान किया गया है, जो सोशल मीडिया पर लगातार ट्रेंड कर रहा है. बहुजन समाज पार्टी (बीएसपी) से लेकर तमाम दलित संगठन और सामाजिक संगठनों ने 21 अगस्त को भारत बंद के समर्थन कर दिया है. इस तरह छह साल बाद एक फिर से दलित समाज की लोग सड़क पर उतरने जा रहे हैं. इधर, भारत बंद के आह्वान को लेकर पुलिस भी हाइ अलर्ट है. एसपी स्वर्ण प्रभात ने जिलेभर के पुलिस को अलर्ट करते हुए मंगलवार की रात से ही अपने-अपने इलाके में निगरानी बढ़ाने के निर्देश दिये हैं. यूपी-बिहार के सीमावर्ती इलाकों से लेकर जिले की सभी सीमाओं पर पुलिस अलर्ट है. आने-जानेवाले लोगों पर पुलिस निगरानी रख रही है. आंदोलन में किसी तरह का उपद्रव या लोगों को परेशान करनेवाले गतिविधि होने पर पुलिस सख्ती से निबटेगी. वज्र वाहन, क्यूआरटी, डायल-112, अग्निशमन समेत सभी टीम को अलर्ट किया गया है. भारत बंद के आंदोलन में शामिल होने के लिए बड़ी संख्या में लोग बाहर से पहुंचे हुए हैं. बताया जा रहा है कि आंदोलनकारी ट्रेन, एनएच-27 व एनएच-531 पर परिचालन को बाधित कर सकते हैं. हालांकि आंदोलन को लेकर रेल पुलिस भी अलर्ट है. रेलवे स्टेशन के अलावा पटरियों पर कड़ी निगरानी रखी जा रही है. भारत बंद को लेकर एससी-एसटी समाज के नेता मनाेज कुमार रंजन, रंजय पासवान, चंदन आंबेडकर ने भारत बंद से एक दिन पहले प्रेस काॅन्फ्रेंस की. साथ ही अनुसूचित जाति अनुसूचित जनजाति के हितों के लिए परिवार के सदस्यों को आंदोलन में शामिल होने के लिए अपील की है.
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