H3N2: एस3एन2 इन्फ्लुएंजा पर अलर्ट जारी किया गया है. गंभीर बीमारियों से पीड़ित लोगों को ज्यादा सतर्कता बरतने के निर्देश दिये गये हैं. इन्फ्लुएंजा संक्रमित मरीजों के ऑक्सीजन लेवल की मॉनीटरिंग की बात कही गयी है. 90 प्रतिशत से ज्यादा ऑक्सीजन लेवल गिरने पर मरीज को तत्काल भर्ती करने के निर्देश दिये गये हैं. इन्फ्लुएंजा की जद में आने वाले मरीजों को ओसेल्टामिविर दवा देने की बात कही गयी है. हेल्पलाइन नंबर भी जारी करने को कहा गया है. इसके अलावा बच्चों-बुजुर्गों को भी सावधानी बरतने को कहा गया है. एडवाइजरी मिलने के बाद स्वास्थ्य विभाग ने एस3एन2 संस्रमण पर गाइडलाइन जारी की है.
इसमें छह महीने से आठ साल तक के बच्चों और 65 साल से अधिक उम्र वालों को ज्यादा सतर्कता बरतने की बात कही गयी है. इधर जिले में हेल्थ एक्सपर्ट, एक फिजिशियन, एक एपीडेमियोलाजिस्ट, एक पैथोलाजिस्ट, लैब टेक्नीशियन और एक माइक्रोबायोलाजिस्ट की टीम बनाने की बात कही गयी है. जांच के बाद इन्फ्लुएंजा की पुष्टि होने पर रोगियों को ओसेल्टामिविर दवा दी जायेगी. पहले से बने आइसोलेशन वार्ड में दो बेड के बीच की दूरी कम से कम 1 मीटर रखने का निर्देश दिया गया है.
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क्या कहते हैं विशेषज्ञ
फिजिशियन डॉ एसके पांडे ने बताया कि मौसमी इन्फ्लूएंजा को लेकर घबराने की जरूरत है. यह हर साल होता है और सामान्य सर्दी-जुखाम की तरह खत्म हो जाता है. इसमें गले में संक्रमण होता है. ज्यादातर लोगों को बिना दवा के बीमारी ठीक हो जाती है. इस बार मरीजों की संख्या अधिक है. ऐसे में वृद्धजनों एवं बच्चों को लेकर सावधानी रखी जा रही है. कोविड के दौरान किये गये इंतजाम मौजूद हैं. ऐसे में मरीजों के उपचार की जरूरत पड़ी, तो भी कोई समस्या नहीं होगी.
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