बिहार: 60,000 रुपये के लिए 3,000 देकर सैकड़ों महिलाएं हुईं धोखाधड़ी का शिकार, जानें कैसे ठगे गए लाखों
कैमूर जिला के दर्जनों गांवों में जाकर कुछ लोगों ने महिलाओं को एक योजना का झांसा देकर कहा कि उनकी कंपनी लोन के रूप में उन्हें उनके खाते में 60,000 रुपये देगी लेकिन पहले उन्हें बीमा के लिए 3000 देने होंगे. महिलाओं ने जालसाजों के झांसे में आकर उन्हें रुपये दे दिए.
बिहार के कैमूर जिले में माइक्रो फाइनेंस कंपनी के नाम पर एक दर्जन से अधिक गांवों की सैकड़ों महिलाओं से लाखों रुपये की ठगी का मामला सामने आया है. ठगी की शिकार दर्जनों महिलाएं शुक्रवार को समाहरणालय पहुंच कर एसपी से मिल कर मामले में प्राथमिकी दर्ज कर ठगी करने वाले आरोपियों पर कार्रवाई करने की मांग की. मामले पर संज्ञान लेते हुए एसपी ने शिकायत करने वाली महिलाओं को भभुआ थाने जाकर एफआईआर दर्ज कराने का आदेश दिया. वहीं, एसपी के स्तर से भभुआ थानेदार को दोषियों की पहचान कर कार्रवाई करने का भी आदेश दिया गया है.
महिलाओं को कैसे फंसाया जाल में ?
दरअसल, गांव में विभिन्न माइक्रो फाइनेंस कंपनियों द्वारा महिलाओं के एक समूह को विभिन्न कार्यों के लिए 50,000 रुपये से 1 लाख रुपये तक का एकमुश्त ऋण दिया जाता है और फिर माइक्रो फाइनेंस कंपनी द्वारा उनसे किश्तों में यह पैसा वापस लिया जाता है. कुछ जालसाजों ने ऐसी ही फाइनेंस कंपनियों का हवाला देकर जिले के एक दर्जन से अधिक गांवों में जाकर सैकड़ों महिलाओं से लाखों रुपये की ठगी की है. जालसाजों ने गांव में जाकर महिलाओं से कहा कि वे एमएसएम माइक्रो फाइनेंस कंपनी के कर्मचारी हैं. इनका ऑफिस भभुआ में एयरपोर्ट के पास है. उन्होंने महिलाओं को बताया कि उनकी माइक्रो फाइनेंस कंपनी महिला समूह को एकमुश्त रकम देती है और फिर किश्तों में वसूल करती है. महिलाओं ने उस पर विश्वास कर लिया और पैसे देने को तैयार हो गईं.
जालसाजों की मीठी बातों में फंसी महिलाएं
जालसाजों ने महिलाओं को माइक्रो फाइनेंस कंपनी की स्कीम के बारे में बताया. उन्होंने महिलाओं से कहा कि पहले उन्हें बीमा के लिए 3,000 रुपये कंपनी को देने होंगे और फिर अगले दिन 60,000 रुपये उनके खाते में जमा कर दिए जाएंगे. कंपनी उन 60,000 रुपये को 24 महीने में 3,000 रुपये की किश्तों में वसूल करेगी. jजालसाजों की इन बातों में आकर महिलाओं द्वारा उन्हें 3000 रुपये के साथ आधार कार्ड, पैन कार्ड एवं बैंक का पासबुक दे दिया गया.
मोबाइल बंद होने पर महिलाओं को हुआ शक
महिलाओं को अपने विश्वास में लेने के लिए जालसाजों ने भभुआ हवाई अड्डा के पास एक कार्यालय भी खोल कर रखा था. यहां कुछ महिलाओं को लाकर दिखलाया भी गया था कि यही उक्त माइक्रो फाइनेंस कंपनी का कार्यालय है. उनके विश्वास में आकर जब महिलाओं ने तीन-तीन हजार रुपये दे दिया, तब सभी जालसाज दर्जनों गांव से महिलाओं के लाखों रुपये लेकर फरार हो गये. इसके बाद उनका मोबाइल भी स्विच ऑफ आ रहा है. साथ ही भभुआ हवाई अड्डा के पास ऑफिस जो बताया गया था वह भी बंद है. मोबाइल ऑफ होने और ऑफिस के बंद होने के बाद महिलाओं को शक हुआ, तो दर्जनों महिलाएं शुक्रवार को समान ले पहुंचकर एसपी से इसकी शिकायत की है.
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ठगों की गिरफ्तारी के लिए एसपी के पास पहुंची पीड़ित महिलाएं
शुक्रवार को दर्जनों महिलाओं के साथ दुर्गावती के दहियाव गांव से पिंकी देवी भी कलेक्ट्रेट पहुंचीं थीं. उन्होंने बताया कि उनके गांव से 45,000 रुपये लेकर जालसाज गायब है. इस तरह से दरौली गांव से 24,000 रुपये, पटकावलिया गांव से 33,000 रुपये, घेघिया से 24,000 रुपये पतेलवा से नौ हजार सहित दर्जन भर से अधिक गांवों से इसी तरह की ठगी की गयी है. शिकायत करने पहुंची पटेलवा की शबाना खातून ने बताया कि किसी तरह से कर्ज लेकर हम लोगों ने तीन-तीन हजार रुपया दे दिया था. हम गरीबों का पैसा इस तरह से ठगी कर लिए जाने से हम लोगों के ऊपर एक तरफ जहां कर्ज का बोझ हो गया. वहीं, दूसरी तरफ हम चारों तरफ दौड़ भाग कर रहे हैं, लेकिन हमारी सुनने वाला कोई नहीं है. जबकि पैसा लेने वाले लोगों का आधार कार्ड और फोटो सब कुछ हम लोगों के पास है. अगर पुलिस चाहे, तो उन्हें पकड़ सकती है. लेकिन प्राथमिकी दर्ज कराने के लिए भी हमें एसपी साहब के पास आना पड़ा.