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लीची उत्पादन में चीन को पछाड़ देगा भारत, सात वैज्ञानिकों की रिसर्च में जतायी गयी यह संभावना

लीची उत्पादन के क्षेत्र में भारत चीन से भी आगे निकल सकता है. इसके लिए यहां की जलवायु व मिट्टी उपयुक्त है. देश के 27 राज्यों में लीची उत्पादन की पर्याप्त संभावना है.

By Prabhat Khabar News Desk | March 10, 2021 12:24 PM

मुजफ्फरपुर. लीची उत्पादन के क्षेत्र में भारत चीन से भी आगे निकल सकता है. इसके लिए यहां की जलवायु व मिट्टी उपयुक्त है. देश के 27 राज्यों में लीची उत्पादन की पर्याप्त संभावना है. यदि इन राज्यों में लीची उत्पादन शुरू कर दिया जाये तो भारत विश्व का सबसे बड़ा लीची उत्पादक देश बन सकता है.

राष्ट्रीय लीची अनुसंधान केंद्र के निदेशक रह चुके डाॅ विशाल नाथ के नेतृत्व में सात वैज्ञानिकों की टीम द्वारा किये गये शोध में यह उम्मीद जतायी गयी है. इस शोध को संबंधित राज्य सरकारों को भी भेजा गया है. शोध से संबंधित किताब इसी सप्ताह छप कर आनेवाली है, जिसे सभी राज्यों को उपलब्ध करा दी जायेगी.

रिसर्च के अनुसार, भारत के 27 राज्यों में लीची की खेती के लायक भूमि व उपयुक्त जलवायु है. इन 27 राज्यों को मिलाकर आठ लाख हेक्टेयर से अधिक भूमि में लीची की खेती करने की योजना है, जिसमें 85 से 95 लाख टन उत्पादन हो सकता है. ऐसी स्थिति में अभी लीची उत्पादन के क्षेत्र में दूसरे स्थान से भारत विश्व का सबसे बड़ा लीची उत्पादक देश बनकर चीन को काफी पीछे छोड़ सकता है.

डाॅ विशाल नाथ ने बताया कि उनके साथ वैज्ञानिक गोपाल कुमार, डाॅ एसडी पांडेय (वर्तमान में निदेशक हैं), अलेमवती पोंगेनर, एसके सिंह, उदय मंडल व ई एस मरबोह ने रिसर्च किया. इसमें यह पाया गया कि भारत के 27 राज्यों में लीची उत्पादन हो सकता है. इसको लेकर उन्होंने इन सभी राज्यों की मिट्टी के किस्म की जानकारी के लिए मृदा सर्वेक्षण एंव भूमि उपयोग ब्यूरो नागपुर और क्लाइमेट के लिए इसरो से भी सहयोग लिया.

जो भूमि लीची उत्पादन के उपयोग लायक पाया गया है, उसमें से दो प्रतिशत भूमि में भी लीची का बाग लगाया जाये तो आठ – दस लाख हेक्टेयर में उत्पादन किया जा सकता है. अभी विश्व में लीची उत्पादन क्षमता प्रति हेक्टेयर आठ टन है. इसे बढ़ाकर 12 मीट्रिक टन उत्पादन के लक्ष्य पर काम हो रहा है.

Posted by Ashish Jha

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