सुबोध कुमार नंदन, पटना. डाक विभाग का साॅफ्टवेयर अपडेट नहीं होने के कारण बिहार में पिछले 20 दिनों से आवर्ती जमा खाते बहुत कम खुल रहे हैं. इसके कारण निवेशकों और डाकघर के कर्मचारियों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. जानकारी के अनुसार एक अप्रैल 2022 से 31 मार्च 2023 तक 806845 आवर्ती जमा खाता खुले. एक अप्रैल से लेकर 18 अप्रैल तक पूरे सूबे में 15743 ही खाते खुले. अधिकारियों की मानें तो पिछले आंकड़े के अनुसार 50 फीसदी से भी कम खाते खुले हैं. इसके कारण डाक विभाग को हर दिन लाखों रुपये का नुकसान हो रहा है.
डाकघर के डाकपाल और अभिकर्ता एक अप्रैल 2023 से आवर्ती जमा का नया खाता खोलने से डर रहे हैं, क्योंकि अपैल 2023 से आवर्ती जमा खाता (आरडी ) की ब्याज दर 5.80 फीसदी से बढाकर 6.20 होने के बाद भी सॉफ्टवेयर कंप्यूटर सिस्टम में पुराना ब्याज 5.80 दे रहा है.
आवर्ती जमा खाता में पांच साल के लिए निवेश किया जाता है. अगर एक हजार रुपये प्रति माह जमा करते हैं तो कुल वैल्यू 70433 रुपये होता है, लेकिन नये खाते में केवल 69697 रुपये ही स्वीकृत कर रहा है. इसके कारण ग्राहक के साथ डाकघर के कर्मचारी नया आवर्ती जमा खाता खोलने से बच रहे हैं. इस समस्या को लेकर अभिकर्ता संघ बार-बार अघिकारियों से आग्रह कर चुके हैं, लेकिन अबतक कोई कार्रवाई नहीं की गयी है. इस संबंध में जब डाक विभाग के वरीय अधिकारी से संपर्क किया गया तो वे कुछ भी बताते से बचते रहे.
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सेंट्रल सर्किल : 3, 07,428
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भागलपुर सर्किल : 2,08,614
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मुजफ्फरपुर सर्किल : 2,90,803
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कुल : 8,06,845
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(यह आंकड़ा एक अप्रैल 2022 से 31 मार्च 2023 तक)
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सेंट्रल सर्किल : 5814
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भागलपुर सर्किल : 3341
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मुजफ्फरपुर सर्किल : 6588
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कुल : 15743
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(यह आंकड़ा एक अप्रैल से 18 अप्रैल तक का है.)