तीन दिनाें से लापता व्यक्ति का मिला शव

नदी में डूबकर मौत की आशंका, ग्रामीणों को उपलती मिली लाश

By Prabhat Khabar News Desk | August 4, 2024 10:33 PM
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खैरा. थाना क्षेत्र के भंडरा गांव में नदी में डूब कर एक 40 वर्षीय व्यक्ति की मौत हो गयी. रविवार सुबह किउल नदी के भंडरा घाट पर उसकी लाश नदी में उपलाती मिली. शव को ग्रामीणों ने बाहर निकाला. मृतक भंडरा गांव निवासी 40 वर्षीय रामोतार मांझी, पिता किशुन मांझी है. बताया जाता है कि रामोतार मांझी शनिवार से ही लापता था और उसकी काफी खोजबीन की जा रही थी. रविवार सुबह कुछ ग्रामीणों को उसकी लाश नदी में उपलाती दिखी, जिसके बाद शव को बाहर निकाला गया. परिजनों ने बताया कि रामोतार मांझी शनिवार दोपहर बाद 3:00 बजे घर से निकला था. वह यह कह कर गया था कि वह किसी काम से जा रहा है और थोड़ी देर में लौट कर आ जाएगा. शाम गुजर जाने के बाद भी रामोतार मांझी लौटकर नहीं आया तब बेटियों ने उसे ढूंढने का काफी प्रयास किया, पर रामोतार मांझी का कुछ पता नहीं चल सका. अगली सुबह भी परिजनों के द्वारा उसकी काफी खोजबीन की गयी, लेकिन उसकी कोई जानकारी नहीं मिल सकी. रविवार सुबह 11:00 के करीब किसी ने नदी में एक शव उपलाते देख इसकी सूचना ग्रामीणों को दी. मौके पर पहुंचे ग्रामीणों ने लाश को बाहर निकाला, तब मृतक की पहचान रामोतार मांझी के रूप में हुई. ग्रामीणों ने आशंका जतायी कि शराब पीकर नदी में डूबने से उसकी मौत हुई है. बहरहाल पुलिस को भी इस मामले की जानकारी दे दी गयी है. मौके पर पहुंचे प्रशिक्षु पुलिस उपाधीक्षक दुर्गेश दीपक ने मामले की छानबीन शुरू कर दी है. उन्होंने शव को अपने कब्जे में लेकर अंत्यपरीक्षण के लिए सदर अस्पताल भिजवा दिया. प्रशिक्षु पुलिस उपाधीक्षक ने बताया कि मृतक रामोतार मांझी के शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है. उन्होंने कहा कि मामले में परिजनों को आर्थिक मुआवजा दिलाने को लेकर कागजी प्रक्रिया की जा रही है.

सात बच्चों के सिर से उठा माता-पिता का साया

बताते चलें कि मृतक रामोतार मांझी के सात बच्चे हैं. इसमें चार बेटियां और तीन बेटे हैं. सबसे बड़ी बेटी की उम्र करीब 16 साल है. जबकि सबसे छोटी बेटी की उम्र करीब 3 साल है. रामोतार मांझी की पत्नी की मौत पिछले साल किसी बीमारी से हो गयी थी. जिइसके बाद रामोतार मांझी ही अपने सभी बच्चों का पालन पोषण करता था. मजदूरी कर अपने परिवार काे चलाता था. रामोतार मांझी की मौत के बाद उसके सातों बच्चों के सिर से माता-पिता का साया उठ गया है. घटना के बाद मृतक की सभी बेटियों के विलाप से माहौल काफी गमगीन हो गया. अब रामोतार मांझी के सातों बच्चों की जिम्मेदारी उसके के बुजुर्ग पिता किशुन मांझी के ऊपर आ गयी है.

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