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जीतझिंगोई में नहीं थम रहा डायरिया का प्रकोप, दो और लोगों की मौत, अब तक चार की गयी जान

शुक्रवार को चिन्हित किये गये थे आधा दर्जन मरीज, देर शाम दो लोगों की तबीयत बिगड़ने के बाद अस्पताल में कराया गया भर्ती

By Prabhat Khabar News Desk | July 20, 2024 10:17 PM

खैरा. प्रखंड क्षेत्र के जीतझिंगोई गांव में डायरिया का प्रकोप थमने का नाम नहीं ले रहा. एक हफ्ते के अंदर यहां दो मौत होने के बाद शनिवार को भी डायरिया के कारण दो लोगों की जान चली गयी. हालांकि दोनों की मौत गांव से बाहर हुई है, पर ये दोनों ही बुचा मांझी की मौत के बाद उसके घर आये थे और वहीं से दोनों की तबीयत खराब हुई थी. इसके बाद दोनों अपने-अपने घर चले गये थे, जहां इलाज के दौरान दोनों की मौत हो गयी है. मरने वालों में एक महिला और एक पुरुष है. इन दो मौतों के बाद जीतझिंगोई में डायरिया से मरने वाले की संख्या बढ़कर चार हो गयी है, जबकि शुक्रवार को दो और नये लोगों में डायरिया के लक्षण दिखे हैं. इसमें एक महिला की स्थिति गंभीर बतायी जा रही है. इसके साथ ही गांव में डायरिया से आक्रांत लोगों की संख्या एक दर्जन के पार कर गयी है. बताते चलें की जीतझिंगोई गांव में डायरिया के कारण पहली मौत बुचा मांझी की हुई थी. बुचा मांझी को उल्टी और दस्त की शिकायत थी. इसके बाद उसे अस्पताल में भर्ती करवाया गया था. इलाज के बाद वह अस्पताल से घर चले आया था और रविवार देर शाम उसकी मौत हो गयी थी. बुचा मांझी की मौत के बाद उसे देखने आयी, उसकी छह वर्षीय नातिन मधुली कुमारी भी डायरिया की चपेट में आ गयी थी तथा लगातार उल्टी और दस्त की शिकायत के बाद परिजन उसे मोकामा लेकर चले गये थे, जहां उसकी मौत हो गयी थी. अब इस घटना में बुचा मांझी की बेटी व मधुली कुमारी की मां की भी मौत हो गयी है. जबकि बुचा मांझी के एक अन्य रिश्तेदार की भी मौत हुई है.

अब तक चार हुई मरने वालों की संख्या

बताते चलें कि शुक्रवार व शनिवार को जीतझिंगोई गांव में डायरिया से आक्रांत हुए दो और लोगों की मौत हो गयी. मरने वालों में बुचा मांझी की 30 वर्षीय पुत्री गायत्री देवी शामिल है. जो अपने पिता को देखने के लिए आयी थी और यहीं डायरिया की चपेट में आ गयी थी. उसकी भी तबीयत बिगड़ गयी तथा परिजन उसे इलाज के लिए मोकामा ले गये थे. जहां एक निजी क्लीनिक में उसका इलाज किया जा रहा था. शुक्रवार देर शाम उसकी मौत हो गयी. वहीं बुचा मांझी के संबंधी सोनो थाना क्षेत्र के महेश्वरी निवासी 60 वर्षीय परमेश्वर मांझी की मौत भी डायरिया के कारण हो गयी है. परमेश्वर मांझी भी बुचा मांझी के श्राद्ध में शामिल होने के लिए जीतझिंगोई पहुंचे थे और इस दौरान वह भी इसकी चपेट में आ गये. इसके साथ ही मरने वालों की संख्या बढ़कर चार पहुंच गयी है.

देर शाम दो और लोगों की बिगड़ी तबीयत, कराया गया भर्ती

गौरतलब है कि शनिवार को गांव निवासी पांच लोगों को इलाज के लिए अस्पताल ले जाया गया था. इसके बाद शनिवार देर रात डायरिया की चपेट में आये दो नये लोगों को भी अस्पताल में भर्ती कराया गया है. इसमें से एक की स्थिति गंभीर बतायी जा रही है. जानकारी के अनुसार गांव निवासी एक बुजुर्ग के साथ गांव निवासी 30 वर्षीय ललिता देवी में भी डायरिया के लक्षण दिखने के बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है. जहां ललिता देवी की स्थिति गंभीर बतायी जा रही है. वहीं गांव के कई और भी ऐसे लोग हैं जिन्हें उल्टी और दस्त की शिकायत है तथा उनका इलाज ग्रामीण स्तर पर ग्रामीण चिकित्सक कर रहे हैं. जीतझिंगोई गांव में डायरिया का प्रकोप नहीं थमने और लगातार हो रही मौतों के बाद गांव में मातम का माहौल है. लोग डायरिया के प्रकोप से भयाक्रांत हैं.

गांव में कैंप कर रही है मेडिकल टीम

वहीं इस पूरे मामले के सामने आने के बाद सिविल सर्जन डॉ कुमार महेंद्र प्रताप ने शुक्रवार को जीतझिंगोई गांव का दौरा किया था तथा उन्होंने डायरिया पीड़ित लोगों से मुलाकात की थी. गंभीर रूप से बीमार लोगों को एंबुलेंस से ले जाकर अस्पताल में भर्ती कराया गया था. वहीं सिविल सर्जन के दौरे के बाद से लगातार मेडिकल टीम गांव में कैंप कर रही है. कई स्वास्थ्य कर्मी गांव की हर स्थिति पर नजर रख रहे हैं. हालांकि अभी भी ग्रामीणों में स्थानीय प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी के गांव में नहीं पहुंचने के कारण रोष है. गौरतलब है कि सिविल सर्जन डॉ कुमार महेंद्र प्रताप ने शुक्रवार को कहा था कि गांव में डायरिया के मरीजों की देखभाल में कोई कमी नहीं होगी तथा उन्हें बेहतर इलाज की व्यवस्था मुहैया करायी जाएगी. स्वास्थ्य विभाग ने गांव में ब्लीचिंग पाउडर आदि का छिड़काव भी कराया है तथा उनके द्वारा साफ-सफाई की भी व्यवस्था करायी जा रही है.

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