जर्जर सड़क पर धान की रोपनी कर जताया विरोध
बरहट प्रखंड क्षेत्र के फुलवरिया गांव का मामला
जमुई. जिले के बरहट प्रखंड क्षेत्र के फुलवरिया गांव में मुख्य सड़क के जर्जर हो जाने को लेकर ग्रामीणों ने अनोखा विरोध जताया. ग्रामीणों ने जर्जर मुख्य सड़क पर धान की फसल लगा दी. ग्रामीणों ने कहा कि पिछले कई महीनों से सड़क की हालात ऐसे ही जर्जर है तथा हमें आने-जाने में काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है. लेकिन इस दिशा में कोई ध्यान नहीं दिये जाने के बाद उन्होंने विरोध प्रदर्शन का यह अनोखा तरीका अपनाया. ग्रामीणों ने कहा कि कुछ वर्ष पहले गांव में करीब 96 लाख की लागत से मुख्य सड़क का निर्माण किया गया था. यह सड़क गांव जाने को लेकर एकमात्र मुख्य सड़क है. लेकिन महज 9 महीने में ही सड़क भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गयी. ग्रामीणों ने बताया कि सड़क निर्माण में घटिया सामग्री का इस्तेमाल किया गया और इस कारण सड़क नौ महीने भी नहीं टिक सकी. इस मार्ग से ट्रकों का आवागमन होता है और सड़क पूरी तरीके से जर्जर हो गयी है. सड़क पर बड़े-बड़े गड्ढे बन गये हैं. जिइसमें बारिश का पानी जमा हो जाता है और कीचड़ के बीच लोगों को आवागमन करना पड़ता है. ग्रामीणों ने कहा कि सड़क पर कीचड़ होने से चार पहिया वाहन तक फंस जाते हैं. जबकि दो पहिया वाहन चालकों के लिए अक्सर दुर्घटना का खतरा बना रहता है. इसे लेकर हमने कई बार विभाग को तथा संवेदक को भी सूचना दी. लेकिन उनके द्वारा मामले में कोई कार्रवाई नहीं की गयी. आखिरकार ग्रामीणों ने रविवार सुबह विरोध का यह तरीका अपनाया. उन्होंने धान का बिचड़ा मुख्य सड़क पर ही लगाना शुरू कर दिया. ग्रामीणों ने कहा कि जब तक सड़क का निर्माण नहीं किया जाता, तब तक हमारा विरोध लगातार जारी रहेगा. इस दौरान करीब दो दर्जन से भी अधिक ग्रामीण मौके पर मौजूद रहे और उन्होंने सड़क पर धान की खेती कर दी. ग्रामीणों के विरोध का यह अनोखा तरीका सुर्खियों में है.
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