कोहरे व हवा ने बरपाया कहर, ठहरा शहर
धुंध के चलते रेंगती नजर आयीं गाड़ियां फसलों को होगा फायदा किसानों के चेहरे खिले जहानाबाद : दिसंबर में मंगलवार को पहली दफा कनकनी का एहसास हुआ. सुबह से ही कोहरा पसरा हुआ था. धूंध के चलते गाड़ियां कछुए की गति से चलती नजर आयीं. लाइट जलाकर वाहनों ने मंजिल तक का सफर तय किया. […]
धुंध के चलते रेंगती नजर आयीं गाड़ियां
फसलों को होगा फायदा किसानों के चेहरे खिले
जहानाबाद : दिसंबर में मंगलवार को पहली दफा कनकनी का एहसास हुआ. सुबह से ही कोहरा पसरा हुआ था. धूंध के चलते गाड़ियां कछुए की गति से चलती नजर आयीं. लाइट जलाकर वाहनों ने मंजिल तक का सफर तय किया. सुबह कोहरा देखकर लोग मॉर्निग वॉक करने भी नहीं निकले. देर तक इंतजार के बाद भी जब धूप नहीं खिली तो लोग मायूस होकर अपने काम पर निकले. दोपहर करीब 12 बजे थोड़ी धूप खिली और धीरे-धीरे धूंध मिटता चला गया. कोहरे की चादर से जनजीवन भी ठिठुरता नजर आया. वहीं कनकनी और ठंड के बढ़े प्रकोप से किसान बहुत ही खुश नजर आये. इससे पहले कड़ी धूप होने के कारण खेतों की नमी खत्म होने लगी थी.
इससे फसल को नुकसान होने लगा था लेकिन मौसम के बदलने से किसानों के चेहरे पर खुशी लौट आयी. शहर के रेलवे स्टेशन, बस स्टैंड समेत बाजार तक में भीड़ न के बराबर दिखी. कनकनी का असर बुजूर्गो पर कहर बनकर आया है. अब वे घरों में ही कंबल-रजाई के अंदर घुसकर अपना समय काटने को मजबूर हैं.
अलाव जलाने की मांग: शहरी क्षेत्र के चौक-चौराहों और रैन बसेरों में अलाव जलाने की जरूरत महसूस होने लगी है. शहर के कई लोगों ने नगर पर्षद और प्रशासन से मांग की है कि इन सार्वजनिक जगहों पर यथाशीघ्र अलाव जलाने की व्यवस्था की जाये. असहाय और बेसहारा लोगों के लिए ठंड की रात डरावनी होती है. अस्पतालों में भी इन असहाय गरीबों के लिए ठंड लगने पर कोई बेहतर इलाज नहीं हो पाने के कारण कई लोग मौत के मुंह में समा जाते हैं. वरिष्ठ भाजपा नेता अजीत शर्मा, नरेश कुमार, शशिरंजन, सुधीर कुमार अधिवक्ता, मनोरंजन कुमार विक्कु, ललित शंकर पाठक, नवीन शंकर एवं प्रह्लाद भारद्वाज समेत कई लोगों ने शहरी क्षेत्र में अलाव जलाने की मांग की है .
स्कूलों के समय में बदलाव
कनकनी बढ़ने के कारण कई निजी विद्यालयों ने अपनी समय सारणी में बदलाव किया है. ठंड को देखते हुये बच्चों की हिफाजत के ख्याल से विद्यालय प्रबंधन ने ऐसा फैसला किया है. अभिभावकों ने भी समय में बढ़ोतरी की मांग विद्यालय प्रबंधनों से की थी. ज्यादातर स्कूलों में स्कूल खोलने का समय 8:30 से नौ बजे कर दिया गया है. इससे छात्रों के साथ अभिभावकों ने भी राहत की सांस ली है.