फुटपाथों पर सजती हैं दुकानें

फुटपाथों के अतिक्रमण से सड़कों पर चलने को विवश हैं पैदल यात्री ऐसे तो शहर में अतिक्रमणकारियों का बोलबाला है, लेकिन हैरत की बात है कि एनएच पर भी अतिक्रमणकारी अपना पांव पसारने लगे हैं. स्थिति देख प्रतीत होता है कि सड़क व फुटपाथ का निर्माण इनके दुकान लगाने के लिए ही किया गया है. […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | May 22, 2015 6:42 AM
फुटपाथों के अतिक्रमण से सड़कों पर चलने को विवश हैं पैदल यात्री
ऐसे तो शहर में अतिक्रमणकारियों का बोलबाला है, लेकिन हैरत की बात है कि एनएच पर भी अतिक्रमणकारी अपना पांव पसारने लगे हैं. स्थिति देख प्रतीत होता है कि सड़क व फुटपाथ का निर्माण इनके दुकान लगाने के लिए ही किया गया है.
इनकी मनमानी के कारण ही इन जगहों पर हमेशा सड़क जाम की समस्या बनी रहती है. इस मार्ग से प्रतिदिन बड़े से लेकर छोटे हाकिम की गाड़ियां भी गुजरती हैं. मगर शायद इन्हें भी इन अतिक्रमणकारियों से लगाव हो गया है. इनकी गाड़ियां भी सड़क किनारे खड़ी कर दी जाती है चालक कोभेज कर इन फुटपाथी दुकानों से सामानों की खरीद की जाती है. ऐसे में इन अतिक्रमणकारियों के हौसले बुलंद होते जा रहे हैं.
जहानाबाद (नगर) : शहर के कई प्रमुख चौक-चौराहे अतिक्रमण की चपेट में हैं, लेकिन नगर सरकार की नजर यहां नहीं जा रही है. इससे आम-अवाम के साथ शहरवासी भी परेशान हैं.
अतिक्रमण हटाने के नाम पर नगर सरकार द्वारा जिला प्रशासन के सहयोग से कई बार अभियान चलाया गया, लेकिन परिणाम ढाक के तीन पात वाली रही. तू डाल-डाल, मैं पात-पात की तर्ज पर अतिक्रमण हटाये गये. प्रशासनिक महकमा के जाते ही अतिक्रमणकारी फिर अपनी पुरानी जगह पर काबिज हो गये. प्रशासनिक महकमा के पहुंचने पर अतिक्रमणकारी खुद अपना सामान समेट सड़क से दूर हट जाते हैं, पर इनके जाते ही फिर से दुकानें सजा लेते हैं.
यह सिलसिला बदस्तूर जारी है. कई जगहों पर तो पैदल यात्रियों के चलने के लिए भी जगह नहीं है. सड़क पर चल नहीं सकते, क्योंकि गाड़ियां दौड़ रही है. रही फुटपाथ की बात, तो यहां पर दुकानदारों का कब्जा है. ऐसे में पैदल यात्रियों को मजबूरन सड़कों से गुजरना पड़ता है, नतीजा दुर्घटना की आशंका बनी रहती है.
प्रशासन के नाक के नीचे शहर के सबसे व्यस्त जगह माने जानेवाले अरवल मोड़ पर भी अतिक्रमणकारियों ने अपना जमा रखा है. यही हाल काको मोड़, रेलवे स्टेशन का इलाका तथा मलहचक मोड़ का भी है. हर जगह फुटपाथ पर दुकानें सजायी जाती हैं.

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