33 कर्जदारों पर दूसरी बार गिरफ्तारी वारंट जारी

जिले के थानेदार की लापरवाही या मनमानेपन के कारण सरकार की करोड़ रुपये राजस्व की वसूली नहीं हो पा रही है. नीलम पात्र वाद पदाधिकारी द्वारा वारंट जारी होने के बाद भी थानेदार द्वारा गिरफ्तारी नहीं करने के कारण वारंटी सड़क पर घूम रहे हैं

By Prabhat Khabar News Desk | August 25, 2024 9:06 PM
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भभुआ नगर. जिले के थानेदार की लापरवाही या मनमानेपन के कारण सरकार की करोड़ रुपये राजस्व की वसूली नहीं हो पा रही है. नीलम पात्र वाद पदाधिकारी द्वारा वारंट जारी होने के बाद भी थानेदार द्वारा गिरफ्तारी नहीं करने के कारण वारंटी सड़क पर घूम रहे हैं व सरकार की करोड़ों रुपये राजस्व की वसूली नहीं हो पा रही है. यह बात हम नहीं कर रहे हैं, बल्कि नीलम पत्र वाद पदाधिकारी सह वरीय उप समाहर्ता संजीव कुमार सज्जन द्वारा पुलिस अधीक्षक को लिखे गये पत्र से खुलासा हुआ है. दरअसल, मामला यह है कि बैंक से कर्ज लेकर जमा नहीं करने वाले कर्जदारों के खिलाफ बैंक द्वारा नीलम पत्र वाद दायर किया गया है. दायर नीलाम पत्र वाद की सुनवाई के बाद नीलम पत्र वाद पदाधिकारी द्वारा वारंट जारी किया गया था, लेकिन वारंट जारी होने के बाद भी थानेदार द्वारा कर्जदारों को गिरफ्तार नहीं करने के कारण एक बार फिर दूसरी बार नीलम पत्र वाद पदाधिकारी द्वारा कर्जदारों को गिरफ्तार करने के लिए वारंट जारी किया गया है. इधर, वारंट जारी होने के बाद वारंटियों को गिरफ्तार करने के लिए नीलम पत्र वाद पदाधिकारी ने पुलिस अधीक्षक को पत्र लिखा है. लिखे गये पत्र में कहा है कि नीलम वाद पदाधिकारी द्वारा जिले के 33 कर्जदारों के खिलाफ पूर्व में वारंट निर्गत किया गया था, परंतु वारंट निर्गत किये जाने के बाद भी संबंधित थानाध्यक्षों द्वारा वारंटियों को गिरफ्तार नहीं किये जाने के कारण एक बार फिर गिरफ्तारी वारंट निर्गत किया गया है. नीलम पत्र वाद पदाधिकारी ने एसपी को लिखे गये पत्र के माध्यम से आग्रह किया है कि अपने स्तर से थानेदारों को निर्देशित करें, ताकि वारंटियों की समय से गिरफ्तारी हो जाने से नीलम पत्र में अंकित राशि की वसूली व निष्पादन समय से हो सके. = 2 करोड़ 96 लाख 39990 रुपये है बकाया नीलम पत्र वाद पदाधिकारी ने एसपी को लिखे गये पत्र में कहा है कि गिरफ्तारी वारंट जारी होने के बाद भी गिरफ्तार नहीं होने वाले वारंटियों के पास दो करोड़ 96 लाख 39990 रुपये बकाया है. गौरतलब है कि बैंक से कर्ज लेने के बाद जमा नहीं करने वाले कर्जदारों के खिलाफ बैंक द्वारा नीलम पत्र वाद दाखिल किया जाता है व दाखिल वाद के बाद नीलम पात्र वाद पदाधिकारी द्वारा सुनवाई की जाती है. सुनवाई के दौरान उपस्थित होने के लिए नीलम पत्र वाद पदाधिकारी द्वारा नोटिस भेजा जाता है. वहीं, भेजे गये नोटिस के बाद भी उपस्थित नहीं होने पर नीलम पत्र वाद पदाधिकारी द्वारा बकाया पैसे की वसूली के लिए वारंट जारी किया जाता है. क्या कहते हैं अधिकारी इस संबंध में नीलम पत्र वाद पदाधिकारी डॉ संजीव कुमार सज्जन ने बताया कि पूर्व में भी जिले के 33 लोगों पर वारंट जारी किया गया था, लेकिन थानेदार द्वारा समय से गिरफ्तारी नहीं करने के कारण राजस्व की वसूली नहीं हो सकी, इसलिए एक बार फिर पूर्व में जारी किये गये वारंट को पुनर्जीवित कर सभी लोगों पर वारंट जारी किया गया है. साथ ही वारंटियों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस अधीक्षक को पत्र के माध्यम से अनुरोध किया गया है. = इन कर्जदारों पर दूसरी बार जारी हुआ वारंट वारंटी का नाम गांव कामाख्या सिंह चौथी भीष्म नारायण सिंह चौथी राकेश कुमार पांडे बढरी कमलेश सिंह परासिया कुंवर सिंह अमाव शेषनाथ सिंह डडरी भगवान मिश्र निमिया राजवंश सिंह भदौला विनय कुमार सिंह लवेदहां संतोष कुमार गुप्ता चौगडा नथुनी पासी बहुआरा कामता प्रसाद सिंह पिपरा शिवपूजन सिंह कबिलासपुर बृजमोहन सिंह लसड़ा सतवंत सिंह अवहरिया दारोगा पसवान रेहुआ कन्हैया गोंड अवरिया अमृत वर्षा रामपुर शिवपूजन सिंह पुरुषोत्तमपुर शैलेश सिंह गोड़सरा नुआंव अमरेंद्र कुमार सिंह पंजराव रामबचन सिंह खुदरा चंद्रमा राय चनडेश लक्ष्मण सिंह छतौना रामाशीष सिंह डंडोरी राम नगीना सिंह केवडी लियाकत असारी गंगवलिया रजनीश कुमार भदोला हीरा शाह डुमरी सुनील कुमार सिंह अकोडी रामबचन यादव रामगढ़ लाल बिहारी सिंह सेमरिया खुशी टेंट हाउस एकता चौक भभुआ हरिवंश सिंह मोकरम पवन कुमार मिश्रा महिला रिजवान आलम नुआंव संत विलास सिंह भोगनपुर सुजीत कुमार श्रीवास्तव मापतपुर भैरवनाथ पांडे चिंतामनपुर सूचित नारायण राय तैरथा मारकंडे मिश्रा महिला संत बीलास राय पडीयारी

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