लाखों खर्च के बावजूद शुद्ध पेयजल नहीं हो सका नसीब
फोटो नं. 32 कैप्सन-विभाग के द्वारा लगाये गये यंत्र का हाल आजमनगर . आसमान से आग उगल रही है. जिससे पानी का संकट गहरा गया है. सड़क किनारे सार्वजनिक रूप से लगाये गये कई चापाकल बेकार पड़े हैं. जिसके कारण लोग पेयजल के लिए भटकने को मजबूर हो रहे हैं. आजमनगर प्रखंड मुख्यालय स्थित लगा […]
फोटो नं. 32 कैप्सन-विभाग के द्वारा लगाये गये यंत्र का हाल आजमनगर . आसमान से आग उगल रही है. जिससे पानी का संकट गहरा गया है. सड़क किनारे सार्वजनिक रूप से लगाये गये कई चापाकल बेकार पड़े हैं. जिसके कारण लोग पेयजल के लिए भटकने को मजबूर हो रहे हैं. आजमनगर प्रखंड मुख्यालय स्थित लगा जल मीनार हाथी दांत साबित हो रहा है. हालांकि आजमनगर में शुद्ध पेयजल उपलब्ध कराने को लेकर कई योजना चली, लेकिन सब अव्यवस्था की भेंट समय दर समय चढ़ता गया. क्षेत्र के लोगों का कहना है कि सरकारी पानी से आज तक किसी का हलक तर नहीं हो पाया है. लेकिन कई जगहों पर पाइप लाइन लाखों खर्च के बावजूद भी ध्वस्त है. लौह युक्त पानी पीने से लोग बीमारी के शिकार हो रहे हैं. आजमनगर पंप चालक बिजली का रोना रोते हैं. कनीय अभियंता चंद्रेश्वर झा से लेकर एसडीओ जीतेंद्र कुमार यदा-कदा जिला मुख्यालय से आना-जाना करते हैं. जबकि सालमारी विभागीय कार्यालय में कनीय अभियंता से लेकर एसडीओ के रहने के लिए आवासीय परिसर की भी व्यवस्था है. प्राणपुर विधायक विनोद कुमार के प्रतिनिधि चमक लाल सिंह ने कहा कि कर्मचारी यदा-कदा आते हैं. जिसके कारण प्रखंड क्षेत्र में लोक स्वास्थ्य अभियंत्रण विभाग सफेद हाथी साबित हो रहा है.