कुरसेला के भौगोलिक अस्तित्व पर विपदा : सहनी
कुरसेला: कटाव निरोधी कार्य के मांग के जन समर्थन में निषाद नेता बरारी विधानसभा के भावी प्रत्याशी कैलाश सहनी ने समर्थकों के साथ कई गांवों का भ्रमण किया. गंगा कोसी नदी के कटाव प्रकोप पर श्री सहनी ने चिंता जताते हुए कहा कि नदी के विनाशक रुख से दर्जन के करीब गांवों पर अस्तित्व का […]
कुरसेला: कटाव निरोधी कार्य के मांग के जन समर्थन में निषाद नेता बरारी विधानसभा के भावी प्रत्याशी कैलाश सहनी ने समर्थकों के साथ कई गांवों का भ्रमण किया. गंगा कोसी नदी के कटाव प्रकोप पर श्री सहनी ने चिंता जताते हुए कहा कि नदी के विनाशक रुख से दर्जन के करीब गांवों पर अस्तित्व का संकट मंडरा रहा है.
प्रभाव में आने वाले गांव शेरमारी, चांयटोला, पत्थल टोला, खेरिया, बालू टोला, मधेली, कमलाकान्ही, गुमटी टोला, बसुहार मजदिया, तीनधरिया के जनमानस कटाव खतरे को लेकर भय ग्रस्त हैं. इन गांवों का भ्रमण कर निरोधी कार्य के मांग पर जन समर्थन मांगा गया है. उन्होंने कहा कि कटाव से बचाव मांग को लेकर शांतिपूर्ण चरणबद्ध आंदोलन चलाये जायेंगे. जिसके लिये आंदोलन का आगाज हो चुका है. जन भागीदारी से इस आंदोलन को व्यापक रूप दिया जायेगा. कटाव रुख के निशाने पर तकरीबन तीस हजार की आबादी संकट में है.
इसमें मूल रूप से अतिपिछड़ों, पिछड़ों, दलित, महादलित की जनसंख्या है. शीघ्र अगर कटाव रोकने के उपाय नहीं हुए तो आबादी का बड़ा हिस्सा गंगा नदी के गर्भ में समाहित हो जायेगा. कुरसेला के भौगोलिक अस्तित्व पर कटाव बड़े विपदा के रूप में सामने हैं. जिसके लिए संगठित होकर संघर्ष के जरिये कटाव निरोधी कार्य के मांग को बुलंद करने की आवश्यकता है. मौके पर संजय मधुकर, उपमुखिया पंकज सहनी, अशोक सहनी, नरेश मंडल, बेचन मंडल, बच्ची यादव, सुरेश महलदार, रंजीत राणा, शुशी लाल, राजीव कुमार उर्फ लालू, मुखिया बबलू कुमार, श्रवण सिंह, मोती सहनी, सोनी सहनी, धनराज सहनी आदि उपस्थित थे.