पंचायत चुनाव . प्रशासनिक तैयारियां शुरू, आयोग ने जारी किये निर्देश

सरकारी वाहन से नहीं होगा प्रचार जिले के ग्रामीण इलाके में पंचायत चुनाव को लेकर जोड़-तोड़ अभी से शुरू हो गयी है. आरक्षण रोस्टर के सार्वजनिक होने के बाद से तो संभावित उम्मीदवार अपना वोट सुरक्षित करने व अपनी क्षमता का अंदाजा लगाने के उद्देश्य से घर-घर दस्तक देने लगे हैं. दूसरी तरफ प्रशासनिक तैयारियां […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 17, 2016 4:48 AM

सरकारी वाहन से नहीं होगा प्रचार

जिले के ग्रामीण इलाके में पंचायत चुनाव को लेकर जोड़-तोड़ अभी से शुरू हो गयी है. आरक्षण रोस्टर के सार्वजनिक होने के बाद से तो संभावित उम्मीदवार अपना वोट सुरक्षित करने व अपनी क्षमता का अंदाजा लगाने के उद्देश्य से घर-घर दस्तक देने लगे हैं. दूसरी तरफ प्रशासनिक तैयारियां भी शुरू हो गयी है.
कटिहार : पांचायत चुनाव को लेकर राज्य निर्वाचन आयेाग ने आदर्श चुनाव आचार संहिता के तहत विभिन्न प्रावधानों को जारी किया है. हालांकि चुनावी अधिसूचना जारी होने के बाद ही आदर्श आचार संहिता लागू होगी. यद्यपि आयोग आदर्श आचार संहिता के दायरे में जिन गतिविधियों को लाया है, उसकी जानकारी सबों को होनी चाहिए. प्रभात खबर ने रविवार से आयोग द्वारा तय किये गये आदर्श आचार संहिता के प्रमुख बिंदुओं को किस्तों में आपके सामने प्रस्तुत कर रहा है. आदर्श आचार संहिता के महत्वपूर्ण बिंदुओं की आज तीसरी किस्त यहां प्रस्तुत की जा रही है.
आयोग ने साफ कहा है कि चुनाव अधिसूचना की तिथि से केंद्र सरकार अथवा राज्य सरकार के मंत्रियों सहित किसी भी व्यक्ति के द्वारा चुनाव कार्य या चुनाव संबंधी यात्रा के लिए सरकारी वाहनों का उपयोग पर भुगतान के आधार पर भी पूर्ण प्रतिबंध रहेगा. परंतु उपयुक्त व्यक्तियों द्वारा सरकारी वाहन का उपयोग सिर्फ सरकारी कार्य के लिए किया जा सकता है.
आयोग ने यह भी कहा है कि ऐसी स्थिति भी उत्पन्न हो सकती है, जब केंद्र व राज्य सरकार के मंत्री जिला मुख्यालय या क्षेत्रीय स्तर के अन्य कार्यालयों तक सरकारी कार्यों के सिलसिले में दौरे पर जाने के लिए सरकारी वाहनों का उपयोग करते हो. उसके बाद चुनाव कार्य हेतु स्थानीय दौरान किसी निजी वाहन के माध्यम से करते हों, तो भी पूरे दौरा को चुनाव कार्य हेतु संपन्न किया गया माना जायेगा. अर्थात किसी भी परिस्थिति में सरकारी वाहन पर प्रतिबंध रहेगा.
मंत्री-अधिकारी पर रहेगी नजर. आयोग ने पंचायत चुनाव को लेकर जारी किये गये आदर्श आचार संहिता के दायरे में सरकारी पदाधिकारी व मंत्रियों को भी लाया है. आचार संहिता निर्धारित करते हुए आयोग ने कहा है कि पंचायत निर्वाचन के क्रम में सरकार के पदधारी यह सुनिश्चित करेंगे कि वे ऐसी शिकायत के लिए अवसर न दें कि चुनाव अभियान परियोजनार्थ उन्होंने अपने पद का दुरुपयोग किया है. विशेष रूप से पंचायत निर्वाचन प्रचार के लिए सरकारी वाहन व मिशनरी का उपयोग नहीं करेंगे.
मंत्रीगण सरकारी दौरे के कार्यक्रम को चुनाव प्रचार कार्य के साथ सम्मिलित नहीं करेंगे तथा सरकारी तंत्र का उपयोग भी चुनाव प्रचार कार्य में प्रतिबंधित रहेगी.
सांसद, विधायक नहीं करेंगे योजना का शिलान्यास-उद्घाटन . पंचायत चुनाव के अधिसूचना जारी होने की तिथि से चुनाव समाप्ति तक संसद व विधानमंडल के सदस्य किसी पंचायत क्षेत्र में स्वेच्छा अनुदान राशि, जनसंपर्क निधि से कोई अनुदान स्वीकृत नहीं करेंगे और न ही इस तरह का कोई आश्वासन देंगे.
साथ ही इस अवधि में किसी योजना का शिलान्यास-उद्घाटन नहीं करेंगे. साथ ही सरकार सहित सार्वजनिक उपकरण, प्राधिकरण, स्थानीय निकाय, सहकारी संस्था, कृषि उपज मंडियों या सरकार से अनुदान अथवा अन्य सहायता प्राप्त करने वाली संस्थाओं के वाहनों, संसाधनों या कर्मचारियों का उपयोग किसी उम्मीदवार या पंचायत चुनाव के पक्ष में नहीं किया जाना चाहिए.

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