विकास से दूर है प्रखंड के कई पंचायत

फोटो है 18 में कैप्सन: गांव की सड़क नदी मे तब्दील प्रतिनिधि, बेलदौर आजादी के 65 साल बाद भी प्रखंड क्षेत्र की आधी आबादी तक विकास से दूर है. असुविधाओं के बीच जी रहे उपेक्षित लोग आजतक आजाद भारत में विकसित गांव के सपने देख रहे है. बात पचौत के मुरली गांव,भरना गांव व कंजरी […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 12, 2015 12:02 AM

फोटो है 18 में कैप्सन: गांव की सड़क नदी मे तब्दील प्रतिनिधि, बेलदौर आजादी के 65 साल बाद भी प्रखंड क्षेत्र की आधी आबादी तक विकास से दूर है. असुविधाओं के बीच जी रहे उपेक्षित लोग आजतक आजाद भारत में विकसित गांव के सपने देख रहे है. बात पचौत के मुरली गांव,भरना गांव व कंजरी पंचायत व इतमादी पंचायत जहां प्रखंड से लेकर पंचायत की योजना भी दम तोड़ रही है. आजादी के वर्षों भी आवागमन, पेयजल आदि समस्या जस की तस बनी हुई है़ राशन केरोसिन के लिए पचोत के लाभुकों को सात किलोमीटर पैदल चलकर बेलदौर आना पड़ता है़ बिजली तो दूर इसके खंभे तक देखने को गांव के बच्चे व बुढ़े तरस रहे हैं़ ऐसे सुदूर क्षेत्र के गण से लोकतांत्रिक व्यवस्था का तंत्र कितना दूर है़ इसका सहज अंदाजा लगाया जा सकता है़ क्षेत्र की आधी आबादी समस्याओं से जुझते हुए देश की लोकतंत्र को याद कर अपनी पीड़ा को उम्मीदों के सहारे दफन कर लेते है़ आधुनिक सुविधाओं से लैंस स्वास्थय केंद्र भले ही लाख दावे करे, लेकिन इन सुदूर इलाके में मरीज आज भी खाट पर ही पीएचसी लाये जाते है़

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