किशनगंज.जिला पदाधिकारी तुषार सिंगला की अध्यक्षता में जिला खनन टास्क फोर्स की बैठक आयोजित की गयी. बैठक में डीएम के द्वारा 2024 -25 में राजस्व संग्रह के लिए एजेंडावार समीक्षा की गई. बैठक में जिला खनिज फाउंडेशन में संग्रहित राशि का उपयोग लोक कल्याणकारी योजनाओं में हो इसकी भी समीक्षा की गई. जिलांतर्गत सभी बालूघाट संचालन व अवैध उत्खनन, अवैध परिवहन, ईट भट्ठा संचालन व अवैध संचालकों पर कार्रवाई, रॉयल्टी संग्रहण, माइनिंग ईनफोर्समेंट के लिए वन के अधिकारियों से समन्वय आदि के बिन्दु पर समीक्षा हुई. वार्षिक लक्ष्य के विरुद्ध राजस्व संग्रह की समीक्षा की गई. खनिज विकास पदाधिकारी को जिलाधिकारी ने निर्देश दिया कि लगातार क्षेत्र भ्रमण कर अवैध खनन के विरुद्ध छापेमारी करें तथा विभागीय पत्र के आलोक में बालू घाट बंद रखना और स- समय खनन प्रारंभ करने समेत अन्य कार्य कराये.जिला परिवहन पदाधिकारी और एसडीएम को ओवरलोडिंग के विरुद्ध जिलाधिकारी ने कहा कि वाहनों की जब्ती की कार्रवाई मे तेजी लाये. बालू घाट से नियमानुसार खनन, खनन राजस्व संग्रहण, अवैध इट- भट्ठा पर नियमानुसार कार्रवाई की समीक्षा की गई. जिलाधिकारी ने निर्देश दिया कि यह सुनिश्चित करें कि खनन कार्य विभागीय प्रावधानों के अनुसार ही हो. रोस्टर बनाकर बालू घाट पर खनन की जांच करें. जिलाधिकारी ने निर्देश दिया कि वैध तरीके से एवं स-समय रॉयल्टी भुगतान करनेवालों को किसी तरह की कठिनाई का सामना न करना पड़े. जिला अन्तर्गत बंदोबस्त बालू घाटों की सतत निगरानी बनाए रखने के लिए जिला खनन टास्क फोर्स के सभी सदस्यों को जिला पदाधिकारी के द्वारा निर्देश दिया गया कि किसी भी परिस्थिति में अवैध खनन और भंडारण नहीं हो जिससे कि सरकारी राजस्व की क्षति रोकी जा सके. अवैध खनन पर चलान काटने करने का निर्देश दिया. जिला अन्तर्गत सभी ईंट भट्टों का निरीक्षण करने के लिए खनन विकास पदाधिकारी को निर्देश दिया गया ताकि संचालित वित्तीय वर्ष में सभी ईट भट्टों के द्वारा शत प्रतिशत राजस्व वसूली की जा सके. जिले के खनिज फाउंडेशन का मुख्य उद्देश्य है दुर्गम एवं सुदूर खनिज क्षेत्रों में रहने वाले व्यक्तियों विशेष कर अनुसूचित जाति-अनुसूचित जनजाति तथा कमजोर एवं वंचित वर्ग की आवश्यक विकास योजनाओं को पूरा करना. प्रधानमंत्री खनिज क्षेत्र कल्याण योजना के तहत उच्च प्राथमिकता वाले क्षेत्रों में कम से कम 60 प्रतिशत राशि का उपयोग यथा पेयजल आपूर्ति, पर्यावरण संरक्षण और प्रदूषण नियंत्रण उपाय, स्वास्थ्य देखभाल, शिक्षा, महिलाओं और बच्चों का कल्याण, वृद्धि और आशक्त लोगों का कल्याण, कौशल विकास एवं स्वच्छता के क्रियान्वयन में किया जाना है. सामान्य प्राथमिकता वाले क्षेत्र में 40 प्रतिशत राशि का उपयोग भौतिक आधारभूत संरचना, सिंचाई, ऊर्जा और जलछाजन विकास एवं खनन क्षेत्र में पर्यावरणीय गुणवत्ता को बढ़ाने हेतु किया जाना है. बैठक में जिला परिवहन पदाधिकारी,अनुमंडलाधिकारी, अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी सभी कार्यपालक अभियंता एवं अन्य पदाधिकारी व कर्मी मौजूद थे. One at
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