बिहार में शिक्षा विभाग के कर्मचारियों पर बढ़ेगा काम का बोझ, केके पाठक ने शिक्षा निदेशकों को लिखा सख्त पत्र
माध्यमिक विद्यालयों के संदर्भ में निर्देश दिए गए हैं कि वे अपर मुख्य सचिव या माध्यमिक शिक्षा निदेशक के समक्ष स्लाइड के माध्यम से प्रस्तुतिकरण दें. इसमें स्टूडेंट फंड और डेवलपमेंट फंड की जानकारी देनी होगी. विभाग ने कहा है कि स्कूलों को तीन स्लाइड में अपना प्रेजेंटेशन देना होगा.
बिहार के 80 हजार स्कूलों के लिए अलग-अलग एक्शन प्लान बनाया जाएगा. इस एक्शन प्लान में स्कूल के शैक्षणिक एवं बुनियादी ढांचे के विकास और उसके वित्तीय प्रबंधन की जानकारी शामिल होगी. शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव के के पाठक ने एक्शन प्लान को लेकर शिक्षा विभाग के विशेष सचिव , माध्यमिक, प्राथमिक और प्रशासन निदेशक को एक आधिकारिक पत्र लिखा है.
प्रत्येक विद्यालय का कम से कम दो बार हो निरीक्षण : के के पाठक
केके पाठक ने पत्र में स्पष्ट किया है कि स्कूलों की कार्ययोजना देना ही काफी नहीं है, बल्कि कार्ययोजना के अनुरूप कार्रवाई भी दिखनी चाहिए. जिसे स्लाइड के माध्यम से भी समझाया जाए. इसलिए यह सुनिश्चित किया जाए कि प्रत्येक विद्यालय का कम से कम दो बार अवश्य ही निरीक्षण हो. दोनों निरीक्षणों के बीच कम से कम एक सप्ताह का अंतर भी होना चाहिए. इसका प्रेजेंटेशन भी विभाग के सामने प्रस्तुत किया जाए.
प्रेजेंटेशन नहीं देने पर निदेशकों का वेतन हो सकता है स्थगित
शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव पाठक ने सभी निदेशकों से दो टूक कहा है कि अगर दिये गये आधार पर किसी भी जिला द्वारा प्रेजेंटेशन नहीं दिया जाता हैं तो जिला शिक्षा पदाधिकारी या अथवा जो भी निरीक्षण के पदाधिकारी हैं, उनके द्वारा उनका वेतन स्थगित कर दिया जाएगा.
कैसा बनाना होगा प्रेजेंटेशन
माध्यमिक विद्यालयों के संदर्भ में निर्देश दिए गए हैं कि वे अपर मुख्य सचिव या माध्यमिक शिक्षा निदेशक के समक्ष स्लाइड के माध्यम से प्रस्तुतिकरण दें. इसमें स्टूडेंट फंड और डेवलपमेंट फंड की जानकारी देनी होगी. विभाग ने कहा है कि स्कूलों को तीन स्लाइड में अपना प्रेजेंटेशन देना होगा. इनमें से दूसरी और तीसरी स्लाइड हर स्कूल के लिए अलग-अलग होनी चाहिए. स्लाइड में संबंधित विद्यालय में शौचालय, आईसीटी लैब, लाइब्रेरी और एफएलएन आदि की जानकारी होनी चाहिए और इन्हीं मुद्दों पर प्रेजेंटेशन बनानी होगी.
प्रेजेंटेशन की गुणवत्ता लगातार गिर रही
पत्र में बताया गया है कि तय रोस्टर के मुताबिक सभी जिलों में 10-10 स्कूलों से प्रेजेंटेशन दिया जा रहा है, लेकिन ऐसी खबरें आ रही हैं कि प्रेजेंटेशन की गुणवत्ता लगातार गिर रही है. जिलों द्वारा सिर्फ खानापूर्ति ही की जा रही है. केके पाठक ने इस बात पर नाराजगी भी व्यक्त की.
तीन स्लाइडों का प्रारूप जारी
बुधवार की शाम वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान इस आशय की जानकारी सामने आने के बाद अपर मुख्य सचिव के के पाठक ने प्रेजेंटेशन और निरीक्षण को लेकर यह पत्र जारी किया है. अपर मुख्य सचिव ने पत्र में निर्देशों के साथ तीन स्लाइडों का प्रारूप भी जारी किया है. जिसके आधार पर स्कूलों को तैयारी करनी होगी.
क्या होगी निरीक्षण की टाइमिंग
जानकारी के अनुसार सहायक अभियंता एवं कनीय अभियंता अपने क्षेत्र अंतर्गत सुबह 9 बजे से 11 बजे तक विद्यालयों का निरीक्षण करते हुए कार्य करेंगे. इसके बाद दोपहर 2 बजे से 4 बजे तक वो विद्यालय निरीक्षण का कार्य करेंगे.