Bihar crime: बिहार की राजधानी पटना में फेस्टिव सीजन आते ही कोढ़ा गैंग एक बार फिर से सक्रिय हो गए हैं. बीते कुछ दिनों की घटनाओं पर नजर डाले तों गैंग के सदस्यों ने पटना के कोतवाली थाना क्षेत्र और राजीव नगर थाना क्षेत्र में लूटपाट की घटना को अंजाम दिया था. गैंग के सदस्यों ने पटना पुलिस की नाक में दम कर रखा है. लेकिन अब गैंग से निपटने के लिए एसएसपी ने एंटी कोढ़ा गैंग का गठन किया है. यह टीम इस गिरोह पर अपनी पैनी नजर रखेगी.
पटना पुलिस के मुताबिक कोढ़ा गैंग के सदस्य आमतौर पर सर्द के मौसम में सक्रिय रहते थे. लेकिन इस बार गिरोह के सदस्यों ने आपराधिक वारदातों को आंजम देने के लिए नए पैटर्न पर काम करना शुरू कर दिया है. गिरोह के सदस्य अब भीड़-भाड़ वाले इलाके में भी वारदातों को अंजाम दे रहे हैं. गिरोह के सदस्य फेस्टिव सीजन में भी लोगों को अपने आतंक का शिकार बना रहे है. बता दें कि गिरोह के सदस्यों को बीते दिनों ही पुलिस ने कंकड़बाग थाना क्षेत्र से गिरफ्तार किया था. खास बात यह है कि गिरफ्तार बदमाश जल्द ही बेल पर रिहा हो जाते है. जिसके बाद ये फिर से एक्टिव हो जाते हैं. हालांकि राजधानी में इस गिरोह के बढ़ते आतंक को देखते हुए पटना एसएसपी ने सख्त रुख अख्तियार किया है.
बता दें कि इस गिरोह के सदस्य कोतवाली थाना क्षेत्र के इनकम टैक्स चौराहा पर 14 सितंबर को झारखंड के एक रेलवे स्टाफ से 2 लाख रुपये की छीनकर फरार हो गए थे. इस घटना में शामिल अपराधियों को पुलिस चिन्हित कर ही रही थी, कि इस गिरोह ने 16 सितंबर को राजीव नगर में एक और घटना को अंजाम दिया. यहां, गिरोह के सदस्यों ने एक महिला से 10 लाख रुपये झपट्टा मारकर छीन लिए और फरार हो गए. महिला स्टेट बैंक ऑफ इंडिया से पैसे निकालकर घर जा रही थी. पुलिस अब तक दोनों मामले में खाली हाथ है.
कटिहार जिले में जुड़ाबगंज नामक एक गांव है जो कटिहार जिले के कोढ़ा प्रखंड में पड़ता है. यहां के ज्यादा लोग घुमंतू जीवन व्यतीत करते थे. ठीक से भरण-पोषण नहीं होने के कारण गांव के परिवार लूट और छिनतइ जैसी घटनाओं में शामिल होने लगे. गांव के बदमाश युवक पहले टीम बनाकर छोटी-मोटी आपराधिक वारदातों को आंजम देते थे. धीरे-धीरे गिरोह का कुनाबा पूरे देश में फैल गया. कहा जाता है कि गिरोह के सदस्यों को बकायदा किसी सुनसान जगह पर आपराधिक वारदात को अंजाम देने के लिए प्रशिक्षित भी किया जाता है. इस गिरोह के सदस्य झारखंड और बिहार में यह सबसे ज्यादा घटनाओं को अंजाम देते हैं.
हाल के दिनों में बिहार के अलग-अलग जिले से पुलिस ने गैंग के सक्रिय सदस्यों को पकड़ा था. गिरोह के सदस्यों ने पुलिस को कई चौकानें वाले खुलासे किये. गैंग के बदमाशों ने पुलिस को बताया कि उनका सॉफ्ट टारगेट बैंक ग्राहक, महिलाएं और बुजुर्ग होते हैं. गिरोह के सदस्य पहले ग्राहक बनकर बैंक की रेकी किया करते हैं. जिसके बाद वे अहम जानकारियां एकत्रित करते हैं. जैसे बैंक में कितने गार्ड है, हर दिन कितने ग्राहक आते हैं. सबसे ज्यादा भीड़ कब और किस दिन होती है. ऐसी कई जानकारी इकट्ठा करने के बाद बदमाश घटनाओं को अंजाम दिया करते है.
कोढ़ा गिरोह के सदस्य वारदात के समय खुजली वाले पाउडर का सबसे अधिक इस्तेमाल करते हैं. यह अपने शिकार पर खुजली वाले पाउडर फेंक देते हैं. जिसके बाद पीड़ित के परेशान होते ही गिरोह के बदमाश पीड़ित से रुपये लेकर भाग जाया करते हैं. इस कार्य में बाइक सवार अन्य दूसरे बदमाश गिरोह के सदस्यों का साथ दिया करते हैं. वहीं, विशेष परिस्थिति में भीड़ से घिरने के बाद गिरोह के बदमाश हथियार तक का इस्तेमाल किया करते हैं.
गैंग के सदस्यों ने पुलिस को जानकारी देते हुए बताया कि लूटपाट और छिनतई जैसी धटनाओं को अंजाम देने में हमेशा खतरा बना रहता है. ऐसे में वे लोग पहले अपने कुल देवी की पूजा करते हैं. गिरोह के सदस्यों का मानना है कि कुल देवी की पूजा करने के बाद वे जिस भी वारदात को अंजाम देने की प्लानिंग करते हैं, उसमें वे पूरी तरह से सफल होते हैं. जबकि पुलिस उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाती है.