मानसून से पहले ही बिहार में कोसी नदी क्यों भरने लगी हुंकार? बराज के दर्जन भर से अधिक फाटक खोले गए

बिहार में मानसून की एंट्री से पहले ही कोसी नदी का जलस्तर बढ़ने लगा है. कोसी बराज के दर्जन भर से अधिक फाटक खोले गए हैं.

By ThakurShaktilochan Sandilya | June 13, 2024 2:18 PM

बिहार में मानसून का इंतजार किया जा रहा है. प्रचंड गर्मी की मार झेल रहे लोग बारिश का इंतजार बेसब्री से कर रहे हैं. वहीं मानसून की एंट्री से पहले ही बिहार में कोसी नदी का जलस्तर बढ़ने लगा है. कोसी बराज के फाटक लगातार खोले जा रहे हैं. पहले 11 और अब दर्जन भर से अधिक फाटक खोल दिए गए हैं. कोसी नदी का जलस्तर इस साल पहली बार 50 हजार क्यूसेक को पार कर चुका है. इसके पीछे की संभावित वजह भी सामने आयी है. हालांकि बाढ़ के लिए जो समय निर्धारित है वो आ चुका है लेकिन बिहार में अभी भी बारिश का मौसम शुरू नहीं हुआ है.

कोसी नदी का जलस्तर बढ़ने लगा

सुपौल में कोसी नदी के जलस्तर में बढ़ोतरी हुई. कोसी नदी के कोसी बराज स्थित बने कंट्रोल रूम से मिली जानकारी के अनुसार, कोसी नदी का जलस्तर इस साल पहली बार 50 हजार क्यूसेक को पार किया है. बुधवार की शाम को कोसी नदी का जलस्तर 59,705 क्यूसेक बढ़ते क्रम में दर्ज किया गया. इस दौरान कोसी बराज के 56 में से 14 फाटक को खोल दिया गया है, जबकि सुगम सिंचाई व्यवस्था के लिए कोसी पूर्वी मुख्य नहर में 2500 क्यूसेक और कोसी पश्चिमी मुख्य नहर में 800 क्यूसेक पानी छोड़ा गया है.

पहले बराज के 11 फाटक खोले गए थे..

वहीं ठीक इसी समय जल अधिग्रहण बराह क्षेत्र में नदी का जलस्तर 35,500 क्यूसेक घटते क्रम में दर्ज किया गया है. यानी जलस्तर में अब कमी होने की आशंका जताई जा रही है. बुधवार की सुबह आठ बजे जल अधिग्रहण बराह क्षेत्र में नदी का डिस्चार्ज 40,500 क्यूसेक दर्ज किया गया था और उस समय कोसी बराज का जलस्तर 44,925 क्यूसेक था. तब बराज के 11 फाटक खोले गये थे.

ALSO READ: Heat Wave: बिहार में लू से हुई मौत का ऐसे होगा सत्यापन, सहायता राशि मिलने में होगी आसानी…

बाढ़ को लेकर पूरी की गयी है तैयारी..

बता दें कि बाढ़ अवधि का समय 15 दिन पहले यानी पहली जून से ही पिछले दो वर्षो से शुरू कर दिया गया है. इसी अनुकूल विभागीय तैयारियां भी पूरी कर ली गयी है. बाढ़ की तैयारी के मद्देनज़र चिह्नित स्परों पर बालू का भंडारण, तटबंध की सुरक्षा के लिए कनीय अभियंता, सहायक अभियंता के साथ-साथ कर्मी भी लगाये गये हैं. हालांकि, कोसी की क्षमता के अनुसार इसमें नौ लाख पानी के प्रवाह का डिजाइन है, लेकिन नदी का पानी अपने साथ भारी मात्र में गाद और बालू लाती है. इससे नदी का बेड लेवल काफी ऊंचा हो गया है.

कोसी का जलस्तर क्यों बढ़ रहा?

गौरतलब है कि चार लाख से अधिक जलस्तर होने के बाद स्थितियां प्रतिकूल हो जाती है. जिसके बाद विभाग की बेचैनी बढ़ने लगती है. हालांकि नदी के बढ़ते जलस्तर ने यह संकेत जरूर दे दिया है कि नेपाल के पहाड़ी क्षेत्रों में अब बारिश शुरू होने लगी है. जिससे कोसी नदी के मुख्य जलधारा में बढ़ोतरी होनी शुरू हो गयी है.

Next Article

Exit mobile version