श्रद्धालुओं ने बाबा भोलेनाथ की पूजा-अर्चना कर लिया जलाभिषेक
माघ महीने की पूर्णिमा के मौके पर लोग गंगा स्नान करने के साथ ही मंदिरों में पूजा-अर्चना कर दान पुण्य का कार्य करते हैं.
माघी पूर्णिमा पर सुबह से ही अशोक धाम में श्रद्धालुओं का लगा तांता
लखीसराय. सनातन धर्म में माघी पूर्णिमा का बड़ा ही महत्व माना जाता है. माघ महीने की पूर्णिमा के मौके पर लोग गंगा स्नान करने के साथ ही मंदिरों में पूजा-अर्चना कर दान पुण्य का कार्य करते हैं. इसी क्रम में बुधवार की सुबह से ही लोगों की भीड़ पूजा-अर्चना के लिए जिले के प्रसिद्ध अशोक धाम मंदिर पहुंची. जहां हजारों की संख्या में लोगों ने बाबा भोलेनाथ की पूजा-अर्चना करने के साथ ही शिवलिंग पर जलाभिषेक किया. बुधवार की सुबह से ही लोग स्नान ध्यान कर अशोक धाम पहुंचने लगे थे. जहां विद्वान पंडितों के द्वारा मंत्रोच्चारण के साथ जल संकल्प कराकर बाबा भोलेनाथ का जलाभिषेक करने के उपरांत अशोक धाम मंदिर परिसर में स्थित अन्य मंदिरों में पूजा-अर्चना की.माघी पूर्णिमा पर श्रद्धालुओं ने गंगा में लगायी डुबकी
बड़हिया. माघी पूर्णिमा के मौके पर बुधवार को श्रद्धालुओं ने कॉलेज घाट पहुंच गंगा में डुबकी लगाकर स्नान किया. गंगा स्नान को लेकर बुधवार में सुबह से ही श्रद्धालुओं में उत्साह देखा गया. श्रद्धालुओं का हुजूम सूर्योदय के काफी देर पहले से ही बड़हिया के कॉलेज गंगा घाट पर गंगा में डुबकी लगाने पहुंच गये थे. माघी पूर्णिमा के महत्वपूर्ण स्नान पर्व पर गंगा की धारा में पुण्य की डुबकी लगाने को श्रद्धालुओं की भीड़ बड़हिया गंगा घाट पर दोपहर तक जुटी रही. स्नान और दान पुण्य के लिए शुभ मानी जानेवाली माघी पूर्णिमा पर बुधवार को बड़हिया कॉलेज घाट सहित प्रखंड क्षेत्र के विभिन्न गंगाघाटों में स्नान करने श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ी. हजारों की संख्या में महिला एवं पुरुष श्रद्धालुओं ने गंगा में आस्था की डुबकी लगायी. मौके पर श्रद्धालुओं ने गंगातट पर जरूरतमंद व भिक्षुकों को दान पुण्य भी किया. सुबह से ही विभिन्न ट्रेन निजी वाहनों द्वारा ढोल-बाजा के साथ तो गंगा मैया के गीत गाते हुए उनकी आराधना करते हुए गंगा स्नान के लिए श्रद्धालुओं का पहुंचने का सिलसिला शुरू हो गया था, जो पूरे दिन जारी रहा. मौके पर श्रद्धालुओं ने गंगा तट पर पूजा अर्चना कर गंगाघाट पर बैठे संतों व भिक्षुओं को भोजन करवाने के साथ ही दान देकर पुण्य कमाया. गंगास्नान करने के उपरांत श्रद्धालुओं ने बड़हिया की विख्यात मां बाला त्रिपुरसुंदरी जगदंबा मंदिर तथा भक्त श्रीधर सेवाश्रम में स्थापित त्रिपुरेश्वर महादेव मंदिर में पूजा अर्चना की तथा अपने साथ लाये विभिन्न पात्रों में पवित्र गंगाजल लेकर अपने-अपने घरों को प्रस्थान किया. माघी पूर्णिमा पर गंगा स्नान व दान पुण्य का विशेष महत्व माना जाता है. माघी पूर्णिमा के महत्व के बारे में पंडित विनय झा ने बताया कि आज के दिन गंगा स्नान करने से सारे पापों का नाश होता है. आज के दिन गंगा स्नान करने से साधकों को शुभ फल की प्राप्ति होती है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है