कजरा में चिकित्सक की कमी से मरीज परेशान
बदलते मौसम के साथ लोगों के स्वास्थ्य सेवा पर काफी असर देखने को मिल रहा है.
कजरा. बदलते मौसम के साथ लोगों के स्वास्थ्य सेवा पर काफी असर देखने को मिल रहा है. वहीं मदनपुर पंचायत अंतर्गत स्वास्थ्य केंद्र कजरा में लंबे इंतजार के बाद एक आयुष चिकित्सक डॉ हंस कुमार पाठक शनिवार को पदस्थापित हुए और सोमवार से पूरे माह के लिए उनकी ड्यूटी श्रावणी मेला में लगा दी गयी. जिस कारण डॉक्टर साहब को अब अस्पताल छोड़ मेला में ड्यूटी देना पड़ रहा है. वहीं दूसरी ओर कजरा क्षेत्र के दर्जनों गांवों के हजारों लोगों को स्वास्थ्य सेवा का लाभ नहीं मिल पा रहा है. इस स्वास्थ्य केंद्र की व्यवस्था पटरी पर रहती तो इससे आसपास के दर्जनों गांव के हजारों लोगों को आसानी से स्वास्थ्य सेवा का लाभ मिलेगा, पर ऐसा नहीं होने से आम लोगों को इस परेशानी को झेलना पड़ रहा है. कजरा में लगभग एक लाख की आबादी है. इतनी बड़ी जनसंख्या के बाद भी स्वास्थ्य की देखभाल के लिए मात्र एक चिकित्सक भी पूर्णरूपेन कार्यरत नहीं हैं. वहीं सरकार द्वारा बेहतर स्वास्थ्य सेवा देने के नाम पर लाखों करोड़ों रुपये खर्च किये जाते हैं, लेकिन इसका लाभ आम जनता को नहीं मिल पा रहा है. स्वास्थ्य व्यवस्था को लेकर आम जनता परेशान है. हालात यह है कि इलाज के लिए मरीजों को ग्रामीण चिकित्सक के शरण में जाना पड़ता है. स्वास्थ्य केंद्र कजरा सरकार के दावे व हकीकत को बयां करने के लिए काफी है. सरकारी अस्पतालों में गरीबों का इलाज नहीं के बराबर होता है. विडंबना है कि मरीज इलाज कराने के लिए यहां से 10 किलोमीटर दूर पीएचसी सूर्यगढ़ा जाने को विवश हैं. चिकित्सक के अभाव में कजरा के लाखों की संख्या के आबादी वाले गरीब तबके के लोगों को काफी अर्थिक क्षति उठानी पड़ती है. अतिरिक्त प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र कजरा के आयुष डॉ हंस कुमार पाठक ने बताया कि उन्होंने शनिवार को ज्वाइन किया है, परंतु श्रावणी मेला ने ड्यूटी लग जाने के कारण उन्हें अशोक धाम लखीसराय में सेवा देना पड़ रहा है.
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