बिहार की राजधानी पटना में जदयू के द्वारा मिलन समारोह का आयोजन रविवार को किया गया. इस मौके पर पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह ने बड़ा बयान दिया है. उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार नहीं है. सीएम विपक्षी एकता और देश को भाजपा मुक्त बनाने में लगे हुए हैं. उन्होंने बताया कि जिस तरह से देश की सभी विपक्षी पार्टियों की बैठक पटना में हो रही है. ठीक उसी तरह जब, भाजपा सत्ता से बाहर हो जाएगी तो एक बैठक का आयोजन किया जाएगा. इस बैठक में सर्वसम्मति से प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार को चुना जाएगा. ललन सिंह कहा कि नेता कोई भी बनेगा, मगर वो देश के लोकतंत्र की रक्षा करेगा.
जदयू के मिलन समारोह में सीएम नीतीश कुमार को पीएम बनाने के लेकर नारेबाजी शुरू हुई. इस पर ललन ने कार्यकर्ताओं और नेताओं को संबोधित करते हुए कहा कि नीतीश कुमार को प्रधानमंत्री बनाने को लेकर नारेबाजी न करें. इससे विपक्षी एकता कमजोर होती है. उन्होंने बताया कि 23 जून की बैठक में अब 18 दल शामिल होंगे. इस बैठक में फारुख अब्दुल्ला तथा महबूबा मुफ्ती भी शामिल होंगी. मिलन समारोह में पीएमसीएच के पूर्व अधीक्षक और मनोचिकित्सक बिमल कारक ने जदयू का हाथ थाम लिया. इस दौरान प्रदेश अध्यक्ष उमेश कुशवाहा आदि मौजूद थे.
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ललन सिंह ने कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए रहा कि बीजेपी आरक्षण विरोधी पार्टी है. कर्पूरी ठाकुर ने 1977 में देश में आरक्षण लागू किया था तो भारतीय जनता पार्टी के लोगों ने उस सरकार को ही गिरा दिया था. उन्होंने कहा कि वर्तमान में देश का संविधान ही खतरे में हैं. सभी संवैधानिक संस्थाओं पर बीजेपी का नियंत्रण है. मीडिया की स्वतंत्रता समाप्त हो गई है. उन्होंने कहा कि सीएम नीतीश कुमार विपक्ष को एक मंच पर लाने में लगे हैं. इसी फल 23 को बैठक है.