पटना. कांग्रेस के कद्दावर नेता ललित नारायण मिश्र की जायंती के अवसर पर उनके पोते और पूर्व विधायक ऋषि मिश्रा ने कांग्रेस को अलविदा कह दिया. उन्होंने बुधवार को इसकी जानकारी देते हुए कहा कि उन्होंने सोनिया गांधी को अपना इस्तीफा भेज दिया है.
ऋषि मिश्रा ने बताया कि उन्होंने कांग्रेस की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दिया है. पिछले दिनों ही ऋषि मिश्रा ने प्रदेश नेतृत्व के ऊपर कई गंभीर आरोप लगाए थे. उन्होंने कहा था कि प्रदेश नेतृत्व केवल अपने परिवार के लिए राजनीति कर रहा है.
बिहार में कांग्रेस के नेताओं को केवल अपने परिवार के लोगों का एडजस्टमेंट चाहिए और इसीलिए पार्टी की स्थिति बुरी होती जा रही है. ऋषि मिश्रा की तरफ से लगाए गए आरोपों पर प्रदेश नेतृत्व ने भी चुप्पी साध ली थी, लेकिन अब उन्होंने कांग्रेस को अलविदा कहने का फैसला कर लिया है.
कांग्रेस आलाकमान सोनिया गांधी को लिखे पत्र में ऋषि मिश्रा ने कहा है कि उनके दादा स्वर्गीय ललित नारायण मिश्रा के सिद्धांतों पर बिहार में कांग्रेस पार्टी कोई काम नहीं कर रही है. ललित नारायण मिश्रा ने बिहार में कांग्रेस के लिए जो जमीन तैयार की, उसकी अनदेखी की जा रही है. पार्टी में उनकी बात नहीं सुनी जाती है. ऋषि मिश्रा ने बहुत आहत होकर ये पत्र लिखा है.
बिहार कांग्रेस में कभी मिश्रा परिवार की तूती बोलती थी. कांग्रेस से मिश्रा परिवार का करीब चार पीढियों तक रिश्ता रहा. ललित नारायण मिश्र के पिता कांग्रेस के कद्दावर नेता रहे. बाद में ललित नारायण मिश्र और जगन्नाथ मिश्र भी कांग्रेस के कद्दावर नेता हुए. विजय मिश्र और नीतीश मिश्र कांग्रेस में नहीं रहे, लेकिन ललित बाबू के पोत ऋषि मिश्र चौथी पीढी के सदस्य हुए जो कांग्रेस में थे. अब इस परिवार का कांग्रेस से पूरी तरह संबंध खत्म हो चुका है.