अनुमंडल कार्यालय को भवन नहीं
उदाकिशुनगंज : कोसी प्रमंडल के आयुक्त रामरूप सिंह द्वारा अनुमंडल कार्यालय का निरीक्षण किया गया. निरीक्षण के क्रम में आयुक्त ने विभिन्न विभागों से संबंधित संचिकाओं का अवलोकन करते हुए आवश्यक दिशा निर्देश दिये. सड़क और भवन की समस्या को लेकर अभियंताओं के साथ बैठक की ओर कई निर्देश जारी किये. अनुमंडल स्थापना के 31 […]
उदाकिशुनगंज : कोसी प्रमंडल के आयुक्त रामरूप सिंह द्वारा अनुमंडल कार्यालय का निरीक्षण किया गया. निरीक्षण के क्रम में आयुक्त ने विभिन्न विभागों से संबंधित संचिकाओं का अवलोकन करते हुए आवश्यक दिशा निर्देश दिये.
सड़क और भवन की समस्या को लेकर अभियंताओं के साथ बैठक की ओर कई निर्देश जारी किये. अनुमंडल स्थापना के 31 वर्ष बाद किसी आयुक्त का यह दूसरा निरीक्षण कार्यक्रम था. इससे पूर्व सात जुलाई 1984 ई को आयुक्त जिया लाल आर्य द्वारा अनुमंडल कार्यालय का निरीक्षण किया गया था. निरीक्षण के क्रम में आयुक्त श्री सिंह को पता चला कि अनुमंडल कार्यालय को अपना भवन नहीं है.
उन्होंने तत्काल ही भवन निर्माण विभाग के कार्यपालक अभियंता को बुला कर बात की. कार्यपालक अभियंता ने आयुक्त को बताया कि पूर्व में दो तल्ला भवन निर्माण के लिए राज्य सरकार से आदेश प्राप्त हुआ था. लेकिन हाल के दिनों में राज्य सरकार से तीन तल्ला भवन निर्माण की स्वीकृति मिली है. जिसके लिए राशि भी आवंटित कर दी गयी. भवन निर्माण के लिए निविदा आमंत्रित करने की प्रक्रिया जारी है.
कोसी योजना के तहत नीयत समय पर सड़क निर्माण कार्य नहीं किये जाने पर आयुक्त ने नाराजगी जतायी और विभागीय अभियंता को कड़ी फटकार लगायी. नीयत समय पर कार्य पूर्ण नहीं करने वाले संवेदक को काली सूची की श्रेणी में शामिल करने का आदेश दिया गया. कोसी पुनर्वास योजना के तहत लक्ष्य के अनुरूप कार्य नहीं होने पर भी उन्होंने नाराजगी जतायी.
पेंशन योजना की समीक्षा में उन्होंने एसडीओ को आवश्यक निर्देश दिये. भूमि विवाद के लंबित 91 मामले के संबंध में डीसीएलआर को साप्ताहिक तारीख देकर जल्द मामले को निबटारा करने का आदेश दिया. सरकारी जमीन पर से अतिक्रमण मुक्त करने का भी उन्होंने आदेश दिया. इस अवसर पर एसडीओ दीपक कुमार साहु एसडीपीओ मो रहमत अली उपस्थित थे.
ग्वालपाड़ा प्रतिनिधि अनुसार, उदाकिशुनगंज से लौटने के क्रम में सहरसा एवं पूर्णिया के आयुक्त रामस्वरूप सिंह के द्वारा बाढ़ आश्रय स्थल ग्वालपाड़ा निरीक्षण की गयी. निरीक्षण में बाढ़ आश्रय स्थल के बनावट एवं गुणवत्ता पर असंतोष जाहिर किया गया.