Loading election data...

नहीं रहे पूर्व मंत्री राजो बाबू, एक युग का हुआ अंत

पूर्व मंत्री

By Prabhat Khabar News Desk | October 25, 2024 9:01 PM

प्रतिनिधि, मधेपुरा राजेंद्र प्रसाद यादव उर्फ राजो बाबू का निधन पटना में इलाज के दौरान शुक्रवार को हो गया. वे वार्ड कमिश्नर, नगर निकाय के अध्यक्ष, विधायक व पूर्व मंत्री थे. मधेपुरा विधानसभा से कांग्रेस व राजद के टिकट पर वह विधायक रहे. बेटिकट होने के बाद भी नहीं बदला दल वर्ष 2005 में सिटिंग विधायक रहने के बावजूद राष्ट्रीय जनता दल ने उन्हें बेटिकट कर दिया गया था. सत्ता विरोधी रुझान चरम पर था. जनता दल यूनाइटेड के राष्ट्रीय अध्यक्ष शरद यादव स्वयं उनके आवास पर पहुंचे और कहा आप पार्टी में शामिल हो जाइए. राजो बाबू ने उन्हें मना कर दिया. किसी भी पद पर रहे, लेकिन नहीं छोड़ा सड़क किनारे बैठकर लोगों से मिलने का रूटीन रोज सवेरे सड़क पर हाथों में रूल लिए राजो बाबू निकलते थे और सड़क किनारे चौक -चौराहा पर बैठकर लोगों से मिलकर उनका हल जानते थे. जरूरत पड़ने पर वहीं से फोन कर समस्या का निदान करने का प्रयास करते थे. वह ऐसे राजनेता थे, जो सर जमीन को कभी नहीं छोड़ते थे. कई बार तो मजलूम पीड़ितों के लिए सीधा थाना तक पहुंच जाते थे. खेल के प्रति रहा सदैव प्यार मधेपुरा फुटबॉल के लिए भी प्रसिद्ध रहा है. राजो बाबू शानदार फुटबॉलर रहे और बिहार टीम का भी प्रतिनिधित्व किया है. जनरल हाई स्कूल फील्ड का फुटबॉल मैदान पर कोई छोटा से छोटा कार्यक्रम खेल से संबंधित आयोजित होता था, तो राजो बाबू जरूर पहुंचते थे. सच्चे खिलाड़ी की तरह टीम भावना, ऊर्जा तथा सहयोग करते रहे. बड़े पुत्र की हो चुकी है मौत, सात संतान है परिवार में राजो बाबू चार पुत्र व तीन पुत्री के पिता रहे. सबसे बड़े पुत्र दिनेश कुमार यादव उर्फ बेताल यादव की मौत दो वर्ष पूर्व हो गयी है. वही मनोज कुमार बिहार पुलिस में डीएसपी है. संजय कुमार रेलवे में कार्यरत है. सबसे छोटा पुत्र डॉ विशाल कुमार बबलू मधेपुरा नगर परिषद के अध्यक्ष रह चुके हैं और राजनीति में सक्रिय है.

डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

Next Article

Exit mobile version