चार दिवसीय टेराकोटा कार्यशाला का हुआ समापन
चार दिवसीय टेराकोटा कार्यशाला का हुआ समापन
प्रतिनिधि,
मधेपुरा
कला संस्कृति व युवा विभाग बिहार व जिला प्रशासन के तत्वावधान में मकर संक्रांति महोत्सव के अवसर पर जिला मुख्यालय स्थित कला भवन में 13 जनवरी से शुरू चार दिवसीय टेराकोटा कार्यशाला शुक्रवार को संपन्न हो गया. कार्यशाला में छात्र-छात्राओं ने कलाकृति का प्रदर्शनी लगाया. कार्यशाला में छात्र-छात्राओं ने मिट्टी के बर्तन, खिलौने, देवी-देवताओं की मूर्तियां, सजावट की वस्तुएं व ज्वेलरी बनाया. साथ ही छात्र-छात्राओं ने टेराकोटा के बाजारीकरण का भी प्रशिक्षण लिया. छात्र-छात्राओं को प्रशिक्षण दिया गया कि किस तरह छात्र-छात्राएं अपने कला के माध्यम से अपनी एक पहचान बना सकते हैं.प्रदर्शनी का अवलोकन करने एडीएम अरुण कुमार सिंह, जिला दिव्यांगजन सशक्तिकरण कोषांग की सहायक निदेशक यशस्वी, जिला बाल संरक्षण इकाई की सहायक निदेशक विजेता रंजन व नेहरू युवा केंद्र की उप निदेशक हुस्न जहां पहुंची. एडीएम ने कहा कि छात्र-छात्राएं अपने कलाकृति के माध्यम से खुद की एक नयी पहचान बनायें तथा अपने कला को उद्योग से जोड़ें. साथ ही उच्च शिक्षा ग्रहण भी ध्यानपूर्वक करें. जिला कला व संस्कृति पदाधिकारी आम्रपाली कुमारी ने कहा कि छात्र-छात्राओं ने इस चार दिवसीय कार्यशाला में अच्छा प्रयास किया और अपने कला को उद्योग से जोड़ने का प्रशिक्षण लिया, जिससे वह अपना भविष्य कला के माध्यम से काफी आगे ले जा सकते हैं. कार्यशाला में प्रशिक्षक विनोद कुमार रजक, कृष्णा झा, सीताराम पंडित, संतोष कुमार, रजनी कुमारी, पूनम भारती, प्रिया कुमारी, सुब्रा श्रीवास्तव, साक्षी कुमारी, दिव्या कुमारी, सक्षम कुमार, देवराज कुमार, मो आशिफ़, कुंदन कृष्ण, आर्यन राज समेत 52 छात्र-छात्राओं ने भाग लिया. जिन्हें जिला कला व सांस्कृतिक पदाधिकारी आम्रपाली कुमारी द्वारा प्रशस्ति पत्र देकर हौसला बढ़ाया. व्यवस्थापक के रूप में नंदन कुमार, अवधेश कुमार राम, इंग्लिश व मनोज कुमार आदि सक्रिय रहे.
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