सीओ पर गिर सकती गाज!
मधुबनीः जिले के विभिन्न प्रखंडों में भू राजस्व के कार्य बहुत ही धीमी गति से चल रहा है. लगान की वसूली के लिये पद स्थापित कर्मचारी भू-राजस्व की वसूली में उदासीन दिख रहे हैं. जिले के तीन प्रखंडों में अब तक निर्धारित लक्ष्य से 10 प्रतिशत तक की वसूली नहीं हो पायी है. अंधराठाढ़ी प्रखंड […]
मधुबनीः जिले के विभिन्न प्रखंडों में भू राजस्व के कार्य बहुत ही धीमी गति से चल रहा है. लगान की वसूली के लिये पद स्थापित कर्मचारी भू-राजस्व की वसूली में उदासीन दिख रहे हैं. जिले के तीन प्रखंडों में अब तक निर्धारित लक्ष्य से 10 प्रतिशत तक की वसूली नहीं हो पायी है. अंधराठाढ़ी प्रखंड में 3.71 प्रतिशत , बासोपट्टी में 5.71 प्रतिशत एवं मधेपुर प्रखंड में 8.81 प्रतिशत ही राजस्व की वसूली हुई है.
प्राप्त जानकारी के अनुसार 28 सितंबर 2013 को जिला स्तरीय राजस्व के बैठक आंकड़ों के अनुसार जिले के भू लगान राजस्व की स्थिति में मधवापुर में 39.7 प्रतिशत राजस्व वसूली हुई. प्रखंड वार राजस्व वसूली की स्थिति में रहिका 23.13 प्रतिशत, पंडौल 34.45 प्रतिशत , खजाैली 26.6, बाबूबरही 20.13, राजनगर 22.96, कलुआही 20.90, जयनगर 19.37, लदनियां 16.29, झंझारपुर 16.16, लखनौर 13.67, बेनीपट्टी 21.78, बिस्फी 31.73, हरलाखी 25.87, फुलपरास 14.27, खुटौना 12.43, लौकही 19.74, घोघरडीहा 37.47 प्रतिशत राजस्व की वसूली करवाया है. राजस्व वसूली की धीमी प्रगति पर अपर समाहर्ता गुप्तेश्वर प्रसाद ने बताया कि सुखाड़ को देखते हुए सरकार के द्वारा राजस्व वसूली पर रोक लगी हुई है. रोक से पूर्व हुए राजस्व वसूली में कमी वाले प्रखंडों के अंचलाधिकारियों से स्पष्टीकरण पूछा जायेगा.
स्मार की होती रही अनदेखी
दरअसल राजस्व वसूली में पीछे रहने के कारण वरीय अधिकारियों को मुख्यालय स्तर पर फजीहत का सामना करना पड़ा है. इसके लिये लगातार अंचल को हालत सुधारने के लिए निर्देश भेजा जाता रहा है. जिसकी अनदेखी करना अंचल में स्वभाव सा बन गया है.