पानी से फसल बर्बाद, किसानों पर आफत!

पानी से फसल बर्बाद, किसानों पर आफत! फोटो: 8 परिचय: खेतों में लगा पानी व कटनी करते किसान मधुबनी/राजनगर. जिले के किसान एक ओर जहां खरीफ में धान रोपनी के समय पानी के कमी से जूझ रहे थे, तो अब धान कटनी के समय और रबी में बुआई के समय पानी ने ही इनके अरमानों […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 20, 2015 6:46 PM

पानी से फसल बर्बाद, किसानों पर आफत! फोटो: 8 परिचय: खेतों में लगा पानी व कटनी करते किसान मधुबनी/राजनगर. जिले के किसान एक ओर जहां खरीफ में धान रोपनी के समय पानी के कमी से जूझ रहे थे, तो अब धान कटनी के समय और रबी में बुआई के समय पानी ने ही इनके अरमानों और मेहनत पर पानी फेर दिया है. हालात यह है कि पानी ने करीब 50 एकड़ में लगे ना सिर्फ धान की फसल को बर्बाद कर दिया है बल्कि रबी में जिन किसानों ने धान में ही फसल की बुआई कर दी थी, उनका फसल पूरी तरह से चौपट कर दी है. आने वाले दिनों में अब इन खेतों में नमी रहने के कारण समय पर खेती भी नहीं हो सकेगी. राजनगर के भटसीमर पंचायत के बसुआनी टोल के किसानों पर खजौली सुक्की साइफन से आये पानी ने कहर ढा दिया है. किसान अपने खेतों में लगे धान की फसल को काटने की तैयारी कर रहे थे. मन में उमंगे थी. कर्ज चुकाने, बेटी की शादी करने के सपने संजो रहे थे कि अचानक पानी ने इनके सपनों को अपने साथ ही बहा ले गयी. हालात आज यह है कि इनके सपनों के पूरा होने की बात तो दूर एक बार फिर ये कर्ज के बोझ तले दब गये हैं. गांव के बीच से होकर बह रही नदी का पानी उछल कर इनके खेतों तक पहुंच गया है. जिस कारण करीब 50 एकड़ में लगी फसल पूरी तरह बर्बाद हो गयी है. गांव के किसान महावीर राउत, शिवजी राउत, कुलदीप प्रसाद, मुक्तिलाल साह हरेराम राउत सहित कई ने बताया है कि सुक्की सायफन से इस नदी में पानी छोड़ दिया गया है. जो अब खेतों में चला गया है. इसकी वजह से धान की तैयार फसल और रबी की बुआई की गयी फसल बर्बाद हो गयी है. इस बाबत जिला कृषि पदाधिकारी रेवती रमण ने बताया है कि खेताें की स्थल निरीक्षण करने के बाद उचित निदान व पहल की जायेगी. रबी अभियान शुरू मधुबनी . मिशन रबी शुक्रवार से शुरू हो गया. जिले के चार प्रखंड राजनगर, पंडौल, बाबूबरही एवं खुटौना में रबी फसल के प्रशिक्षण कार्यशाला का आयोजन किया गया. इसके अगले दिन शनिवार को इन प्रखंडों में उपादान का वितरण होना है. प्रशिक्षण कार्यशाला को सही तरीके से संपन्न कराने के लिये जिले के अधिकारी के साथ साथ प्रखंड के पदाधिकारी, कृषि समन्वयक, किसान सलाहकार सहित अन्य लोग शामिल थे. विभाग से मिली जानकारी के अनुसार इस साल 75 हजार हेक्टेयर में गेहूं की बुआई की जायेेगी. इसके लिये किसानों को अनुदानित दर पर खाद बीज व उपादान उपलब्ध कराया जायेगा.

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