गढ़गांव में सात दर्जन परिवार बाढ़ के कटाव से हुए विस्थापित
प्रखंड के कोसी दोनो तटबंध के बीच बसे गढ़गांव पंचायत में कोसी नदी का कहर पिछले कुछ दिनों से लगातार जारी है. कोसी नदी इस वर्ष गढ़गांव पंचायत के गोबरगढ़ा गांव में अपनी धारा बदल लिया है.
मधेपुर. प्रखंड के कोसी दोनो तटबंध के बीच बसे गढ़गांव पंचायत में कोसी नदी का कहर पिछले कुछ दिनों से लगातार जारी है. कोसी नदी इस वर्ष गढ़गांव पंचायत के गोबरगढ़ा गांव में अपनी धारा बदल लिया है. आलम यह है कि गोबरगढ़ा गांव में कोसी नदी का कटाव पिछले कुछ दिनों से लगातार जारी है. कोसी नदी उपजाऊ जमीन सहित लोगो के बसाबत जमीन को भी काटकर अपने अंदर समाहित कर रही है. नदी के कटाव को देखते हुए लोग अपने घर को उजारकर कहीं अन्यत्र बसने को विवश हो रहे है. ग्रामीणों की अगर माने तो इस जुलाई माह में छह दर्जन से अधिक परिवार विस्थापित हो चुके हैं. जबकि आज कई परिवार अपना आशियाना उजड़ने में जुटे हुए है. कोसी नदी गोबरगढ़ा, मैनाही एवं परियाही गांव में भी कई परिवारों का घर काटकर अपने अंदर में समाहित कर चुकी है. इधर नेपाल में हो रही बारिश एवं बराज से पानी छोड़े जाने के कारण कोसी नदी में बाढ़ के पानी का उतार चढ़ाव लगातार जारी है. खासकर गढ़गांव पंचायत सभी गांव पिछले 10 वर्ष से पूर्ण रूप से टापू बन गया है. नदी में थोड़ा भी पानी आने के साथ ही इस पंचायत के गोबरगढ़ा, मैंही, परियाही, बक्सा, भवानीपुर आदि गांव बाढ़ के पानी से घिर जाता है. लोगो के घर आंगन में भी पानी प्रवेश कर जाता है. लोग विस्थापित होने की विवश हो जाते हैं. प्राय: हर वर्ष कोसी नदी इन गावों में कटाव करती है. लोग विस्थापित होकर अन्यत्र बसने को विवश हो जाते है. गढ़गांव पंचायत के मुखिया दीपेंद्र सिंह ने बताया कि कटाव से विस्थापित परिवारों की जिंदगी बदतर हो जाती है. अंचल अधिकार नीतीश कुमार ने बताया कि विस्थापित परिवारों के बीच पॉलीथिन सीट का वितरण किया गया है.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है