Manoj Bajpayee अपने स्कूल पहुंच बन गए बच्चे, खेल के मैदान में खड़े होकर बच्चों से कहा…

Manoj Bajpayee मंगलवार को बेतिया में अपने बचपन के स्कूल केआर हाईस्कूल में पहुंचे. स्कूल के पूर्ववर्ती विद्यार्थी के रूप में अपने स्कूली अवस्था के दौर को याद किया.

By Prabhat Khabar Digital Desk | September 21, 2022 2:19 PM

Manoj Bajpayee मंगलवार को बेतिया में अपने बचपन के स्कूल केआर हाईस्कूल में पहुंचे. स्कूल के पूर्ववर्ती विद्यार्थी के रूप में अपने स्कूली अवस्था के दौर को याद किया. वे इसी विद्यालय के विद्यार्थी के रूप में अपने स्कूली जीवन को याद हुये भावुक हो उठे. पद्मश्री से विभूषित वाजपेयी ने कहा कि कभी मैं भी आप सबकी तरह इसी मैदान में खड़ा होता था. तब के समय में हमारे यूनिफॉर्म की शर्ट सफेद हुआ करती थी. मेरी समझ में वह इससे अच्छा था.

बच्चों को किया उत्साहित

इस कथन के साथ मैदान में खड़े सैकड़ों बच्चे उत्साहित हो कोलाहल करने लगे. तब प्राचार्य फादर और और अन्य प्राध्यापक उत्साहित होकर मनोज वाजपेयी के और करीब बढ़ते बच्चों को संभालने लगे. इतने में उन्हें रोकते हुए वाजपेयी ने उत्साहित बच्चों से खुद को जोड़ लिया. कहा कि इसी केआर स्कूल के नाटक से मैंने अपना प्रारंभिक अभिनय और कविता सीखी है. उन्होंने महाभारत के प्रकरण का स्मरण करते हुए राष्ट्रकवि रामधारी दिनकर विरचित रश्मिरथी की कुछ पंक्तियों याद किया.

दुर्योधन कृष्ण संवाद को कराया याद

अपने द्वारा स्कूल में सुनाई जाने वाली एक कविता को याद करते हुये उन्होंने कौरवों की सभा में दुर्योधन कृष्ण संवाद को याद कराया और कहा कि…तू मझे बांधने आया जंजीर बड़ी क्या लाया है, हो मुझे बांधने का हो मन तो पहले बांध उन्मुक्त गगन, जो गगन बांध नहीं सकता है वह मुझको साध न सकता है…उनकी कविता सुन प्राध्यापक स्थिर हो गये और बच्चों का कोलाहल भी थम गया. तब श्री वाजपेयी ने कहा कि बच्चों के उन्मुक्त व निश्छल मन को बांधना और साधना दोनों असम्भव है. हम और हमारे साथ खड़े सभी सहपाठियों यथा भितिहरवा जीवन कौशल ट्रस्ट के अध्यक्ष शैलेन्द्र प्रताप सिंह, शिक्षाविद डॉ ज्ञानदेव मणि त्रिपाठी, राकेश कुमार राव की ओर इशारा करते हुये कहा कि हम सबको अपना बचपन खो देने का आत्मिक दुःख है. मौके पर कस्तूरबा कन्या उच्च माध्यमिक विद्यालय के प्रधानाचार्य दीपेन्द्र बाजपेयी, प्रसाद एग्रिको के निदेशक अश्वनी कुमार, कन्हैया राव भी उपस्थित रहे. इसके पूर्व श्री वाजपेयी ने इस दौरान स्कूल की ऑटोमेटेड लाइब्रेरी का उद्घाटन किया.

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