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पूसा के वैज्ञानिक टीम ने गन्ना फसल का किया मुआयना, किसानों को दिए टिप्स

ईख अनुसंधान संस्थान पूसा के वैज्ञानिकों की टीम ने बिहार में गन्ना में निगरानी और सलाहकार सेवाएं परियोजना के अंतर्गत एचपीसीएल बायोफ्यूल्स लिमिटेड इकाई सुगौली का भ्रमण किया.

मोतिहारी. ईख अनुसंधान संस्थान पूसा के वैज्ञानिकों की टीम ने बिहार में गन्ना में निगरानी और सलाहकार सेवाएं परियोजना के अंतर्गत एचपीसीएल बायोफ्यूल्स लिमिटेड इकाई सुगौली का भ्रमण किया. टीम में आये डॉ. सिद्धनाथ सिंह, डॉ. नवनीत कुमार,डॉ. संजीव कुमार सिंन्हा व डॉ. अनिल कुमार ने इस क्रम में वैज्ञानिकों की टीम ने भ्रमण के क्रम में शरद कालीन गन्ना बुवाई के खेतों में लगे गन्ना फसल का निरीक्षण किया. इस क्रम में किसानों से मिलकर उनके खेतों में कीट बीमारियों एवं फसल प्रबंधन के बारे में जानकारी दी. किसानों की समस्याओं का ऑन स्पॉट समाधान किया. वही भविष्य में गन्ना की खेती के लिए तकनीकों का व्यवहार जैसे उपयुक्त बीज का चुनाव, बिजोपचार, पौधा से पौधा की दूरी, एक व दो आंख के टुकड़ों की बुआई एवं अन्य शस्य क्रियाओं की जानकारी दी. किसानों ने गन्ने में लगने वाली लालसर रोग के प्रति अपनी चिंता जाहिर की जो काफी हानि पहुंचा रही है. पौधारोग विशेषज्ञ डॉ सिद्धनाथ सिंह ने इस बीमारी के प्रबंधन में ट्राईकोडर्मा जैव नियंत्रक से बीजोपचार, मिट्टी उपचार, हरी खाद का खेतों में प्रयोग, नीम व करंज की खली का प्रयोग करने का सलाह दिया. मौके पर एचपीसीएल सुगौली के महाप्रबंधक विजय कुमार दीक्षित व उप महाप्रबंधक गन्ना शैलेन्द्र कुमार मिश्रा ने वैज्ञानिक दल का स्वागत व भ्रमण के लिए धन्यवाद ज्ञापित किया.

16 उर्वरक दुकानों का लाइसेंस निलंबित, एक से स्पष्टीकरण

रबी सीजन में किसानों को सुगमता से उर्वरक की उपलब्धता के लिए प्रशासन सभी स्तर पर सख्ती बरत रहा है. डीएम सौरभ जोरवाल के निर्देश पर कृषि महकमा के द्वारा जिले में चलाये जा रहे जांच अभियान में 16 उर्वरक बिक्रेता पकड़े गये है. सभी पर उर्वरक बिक्री में अनियमितता बरतने का आरोप है. डीएओ मनीष कुमार सिंह ने बताया कि जिला कृषि अनुमंडल पदाधिकारी के जांच रिपोर्ट पर एक्शन लेते हुए सभी 16 लाइसेंस निलंबित किया गया है. वही अरेराज के मे. आदर्श कृषि केंद्र संचालक से स्पष्टीकरण की मांग की गयी है. कहा कि सभी बीएओ, कृषि समन्वयक को अपने कार्य में क्षेत्र में लगातार भ्रमणशील रहने व प्रत्येक प्रतिष्ठानों का नियमित रूप से जांच सुनिश्चित करने का निर्देश दिया गया है, ताकि निर्धारित मूल्य पर उर्वरक बिक्री का शत्-प्रतिशत अनुपालन किया जा सके. कहा कि इस कार्य मे किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी. कहा कि संबंधित कर्मियों को डीएपी उर्वरक के जगह एनपीके का प्रयोग करने के लिए किसानों को जागरूक करे.

इन दुकानों का लाइसेंस हुआ निलंबित

इनमें आदापुर के मे. अमन ट्रेडर्स, मे. कुशवाहा खाद बीज भंडार, मे. महेश खाद भंडार, मे. संजय खाद भंडार, मे. गिरजा इंटरप्राईजेज, मे. गुड्डु खाद बीज भंडार, मे. डीएस इंटरप्राईजेज, अरेराज के मे. प्रीतम खाद बीज भंडार, मे. कुशवाहा खाद बीज भंडार, मे. गुप्ता ट्रेडर्स, छौड़ादानों के मे. कृषि खाद बीज भंडार, मे. कृष्णा खाद बीज भंडार, मे. न्यू डब्ल्यू खाद भंडार, मे. अजीत बीज भंडार कोटवा, मे. आरआर इंटरप्राईजेज पहाड़पुर व मे. हलधर ट्रेडिंग रक्सौल के उर्वरक लाइसेंस निलंबित की गयी है.

डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

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