मोतिहारी में मौसम का पारा 41 के पार, बिजली खपत पहुंची 290 से बढ़कर 305 मेगावाट
मौसम का पारा पूर्वी चंपारण में 41 के पार चल रहा है, तो बिजली खपत भी पिछले साल के मई-जून का रिकॉर्ड तोड़ते हुए 305 मेगावाट हो गयी है.
मोतिहारी.मौसम का पारा पूर्वी चंपारण में 41 के पार चल रहा है, तो बिजली खपत भी पिछले साल के मई-जून का रिकॉर्ड तोड़ते हुए 305 मेगावाट हो गयी है. विभाग के अनुसार पिछले वर्ष 290 मेगावाट की खपत पूर्वी चंपारण जिले में थी. संभावना है कि यह खपत मई-जून में 350 मेगावाट तक न पहुंच जाए. वैसे विभाग पूरी तैयारी में है कि मांग के अनुरूप बिजली आपूर्ति की जाएगी. गर्मी में तेज हवा के कारण पावर कट की समस्या बढ़ी है. अचानक लोड बढ़ने पर ब्रेक डाउन की समस्या आ रही है, जिसे दूर किया जा रहा है. आंकड़ों के अनुसार सर्वाधिक खपत मोतिहारी ग्रिड (मजुराहा) 110 मेगावाट की है. दूसरे नंबर पर ढाका ग्रिड है, जहां 62 मेगावाट की खपत हो रही है. पिछले वर्ष मोतिहारी ग्रिड की खपत सर्वाधिक 95 मेगावाट था, जो अभी अप्रैल में 110 मेगावाट पहुंच गया है, जबकि ढाका में दो मेगावाट की बढ़ोतरी हुयी है. आंकड़ों के अनुसार पकड़ीदयाल ग्रिड 10 मेगावाट, रक्सौल में 40 मेगावाट, बेला में 11 मेगावाट, अरेराज में 28 मेगावाट की खपत हो रही है. रामगढ़वा के बेला में अलग ग्रिड स्थापना से रक्सौल का लोड घटा है. विभाग के अनुसार कृषि फीडर की अतिरिक्त लोड बिजली आपूर्ति पर पड़ रही है. गर्मी के मौसम में बिजली मोटर से लोग गरमा खेती की सिंचाई कर रहे है. इसके अलावा शहर की कौन कहे, गांव स्तर पर घरों में कूलर-एसी का इस्तेमाल शुरू हो गया है, जो बिजली खपत बढ़ने का कारण है. विभाग का मानना है कि बिजली खपत बढ़ोतरी में 10 प्रतिशत वैसे लोग है, जो चोरी-छूपे बिजली जला रहे है, जिसके जांच के लिए ट्रांसफॉर्मर की लोड जांच के साथ विभिन्न घरों के उपयोग क्षमता की जांच की जा रही है. तेज हवा या अन्य कारणों से बिजली आपूर्ति बाधित होती है, उसके बाद अगर बिजली आती है, तो घर के सभी उपकरण यथा मोटर, फ्रिज, वाशिंग मशीन, मिक्सिंग, कूलर, एसी व फैन आदि एक साथ चालू न करे. एक साथ चालू करने पर लोड जंप करेगा, जिसके कारण फिर ब्रेक डाउन की समस्या आ सकती है. ऐसे में घरेलू उपकरण भी जल जायेंगे. कुछ घंटों बाद बिजली आने की स्थिति में बारी-बारी से कुछ देर पर उपकरण स्टार्ट करे. गौतम गोविंदा, अधीक्षण अभियंता, मोतिहारी अंचल ने कहा कि पिछले वर्ष की तुलना में अप्रैल माह में ही 15 मेगावाट बिजली की खपत पूर्वी चंपारण के विभिन्न फीडरों में बढ़ी है. यह आपूर्ति मई-जून तक 305 से बढ़कर 350 मेगावाट तक हो सकती है. उपभोक्ताओं को अनवरत बिजली मिले, इसके लिए विभाग लगातार प्रयत्नशील है. अगर बिजली सही ढंग से मिल रही है, तो उपभोक्ता भी विभाग को राजस्व देने में सहयोग करे. बिजली चोरी के खिलाफ अभियान आरंभ कर दिया गया है. घरों व ट्रांसफॉर्मर के लोड क्षमता की भी जांच होगी.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है