चरथ भिक्खवे यात्रा दल केसरिया स्तूप पर पहुंचा
बौद्ध परिपथ पर केंद्रित चरथ भिक्खवे यात्रा शुक्रवार को केसरिया पहुंच बौद्ध स्तूप परिसर का भ्रमण भी किया
केसरिया. बौद्ध परिपथ पर केंद्रित चरथ भिक्खवे यात्रा शुक्रवार को केसरिया पहुंच बौद्ध स्तूप परिसर का भ्रमण भी किया. इस अवसर पर एक गोष्ठी का आयोजन किया गया. गोष्ठी को संबोधित करते हुए एलसी प्रो डॉ बीरेन्द्र नरायण यादव ने कहा कि यह स्तूप भगवान बुद्ध के जीवन और उनके उपदेशों से जुड़ा एक महत्वपूर्ण बौद्ध तीर्थ स्थल है. इसी उद्देश्य से यात्रा दल यहां एकत्रित हुआ, ताकि भगवान बुद्ध की शिक्षाओं का स्मरण किया जा सके. केसरिया स्तूप को बौद्ध धर्म के इतिहास में विशेष महत्व प्राप्त है. इस स्थल की पवित्रता और ऐतिहासिक महत्ता ने चरथ भिक्खवे यात्रा को एक अद्वितीय अनुभव प्रदान किया. बौद्ध परिपथ की यह साहित्यिक-सांस्कृतिक यात्रा, जिसे सारनाथ से विश्व शांति के संदेश के साथ शुरू किया गया था. आज वैशाली से होते हुए केसरिया पहुंची, जहां महात्मा बुद्ध सेवा संस्थान के अध्यक्ष सीताराम यादव के नेतृत्व में स्वागत किया गया. यात्रा के संयोजक प्रो. सदानंद शाही की परिकल्पना में शुरू की गई इस यात्रा में देश भर के कई प्रमुख लेखक, साहित्यकार, कवि, कलाकार और समाजसेवी शामिल हैं. इस यात्रा में ज्ञानेंद्रपति, आलोकधन्वा, अरुण कमल, रणेंद्र, गगन गिल, राम सुधार सर, पृथ्वीराज सिंह, मृदुला सिन्हा, रंजना अरगड़े, प्रकाश उदय पांडे, रमाशंकर सिंह, विहाग वैभव, नरेंद्र पुंडरीक, निरंजन जी, दिलीप दीपक, डॉ. विनय कुमार, डॉ. राकेश कुमार रंजन, प्रो. रवीन्द्रनाथ श्रीवास्तव ””””परिचय दास””””, शालिनी मिश्रा, अंशु प्रिया, सना सबा, रुमा कुमारी, सुनील मौर्य और नीतीश परासर समेत कई साहित्यकारों का जत्था शामिल था. यात्रा के दौरान सभी प्रतिभागियों ने बुद्ध के आदर्शों और उनकी शिक्षाओं को जनमानस तक पहुंचाने के अपने उद्देश्य को साझा किया. इस यात्रा का अगला पड़ाव कुशीनगर और लुम्बिनी है. मौके पर विश्वनाथ सिंह,नेजाम खान, सतेन्द्र यादव,रामाधार राय,राजन यादव, चंदन श्रीवास्तव, रामधार राय, मंजीत कुमार , राजन पासवान, हरिशंकर पासवान,विनोद राम समेत कई लोग उपस्थित थे.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है