असरगंज प्रखंड में कुल 11 स्वास्थ्य उपकेंद्रों को सरकार द्वारा लाखों रुपये खर्च कर ग्रामीण क्षेत्रों तक बेहतर स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध कराने के लिए आयुष्मान भारत योजना के तहत हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर के रूप में डेवलप किया गया. लेकिन इन हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर की बदहाल व्यवस्था और स्वास्थ्यकर्मियों की मनमानी के कारण गरीब लोगों को इसका लाभ नहीं मिल पा रहा है. हाल यह है कि असरगंज के 11 हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर में कई एचडब्लूसी पर शौचालय की व्यवस्था तक नहीं है तो कईयों पर कुर्सी व टेबल तक उपलब्ध नहीं है. हद तो यह है कि लाखों खर्च किये जाने के बाद अबतक प्रखंड के कई हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर तक न तो बोर्ड लगा है और न ही वहां के कर्मियों व अधिकारियों का मोबाइल नंबर अंकित है. जिसके कारण ग्रामीण इन हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर की शिकायत तक अधिकारियों से नहीं कर पाते हैं.
खपरैल मकान में चल रहा एचडब्लूसी
न बोर्ड, न जांच की समुचित व्यवस्था
इसे प्रखंड के स्वास्थ्य अधिकारियों की लापरवाही ही कहें कि हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर पंनसाय केंद्र पर अबतक उपस्वास्थ्य केंद्र का पुराना बोर्ड ही लगा है. जिसे एचडब्लूसी के रूप में डेवलप किये जाने के बाद स्वास्थ्य विभाग एक नया बोर्ड तक नहीं लगा पाया है. वहीं रहमतपुर पंचायत अंतर्गत हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर चाफा में एएनएम रानी सलूजा तो समय पर पहुंची थी. लेकिन दूसरी एएनएम खुशबू कुमारी मंगलवार को सुबह 9.45 बजे तक पहुंची. वहीं यहां सुविधा के नाम पर बेड एवं कुर्सी तक नदारत दिखी. जबकि दोनों एएनएम ने बताया कि केंद्र पर डायबिटीज जांच किट उपलब्ध नहीं है. जबकि एचपी का इंस्ट्रूमेंट भी खराब है. हद तो यह है कि स्वास्थ्य प्रबंधक आफाक को हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर के बदहाल स्थिति की जानकारी तक नहीं है. जब उनसे इसकी जानकारी ली गयी तो उनका कहना था कि ऑफिस से रिकॉर्ड देखकर कुछ कहा जा सकता है. ऐसे में अधिकारियों के नियमित निरीक्षण की हालत प्रखंड में समझी जा सकती है.कहते हैं प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी
डॉ निरंजन कुमार, असरगंज प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी
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