मुंगेर : रालोसपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष सह केंद्रीय मानव संसाधन राज्य मंत्री उपेंद्र कुशवाहा ने आज कहा कि हम एनडीए में हैं और एनडीए में रहेंगे. लेकिन, अपमान सह कर नहीं बल्कि सम्मान के साथ. सीट शेयरिंग पर जिस तरह से रालोसपा को अपमानित किया जा रहा है. वह बर्दाश्त लायक नहीं है. ज्यादा अपमान नहीं हो और धैर्य की परीक्षा नहीं ले. इसलिए 30 नवंबर तक पीएम मोदी न्याय करें. नहीं तो 4 दिसंबर को बाल्मिक नगर में आयोजित कार्यक्रम में रालोसपा अपना निर्णय तय कर अपनी राह चलेगी.
नीतीश कुमार कल भी बड़े भाई थे और आज भी : कुशवाहा
उपेंद्र कुशवाहा ने शनिवार को मुंगेर के पोलो मैदान में आयोजित हल्ला बोल-दरवाजा खोल कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उक्त बातें कही. उन्होंने कहा नीतीश कुमार कल भी हमारे बड़े भाई थे और आज भी बड़े भाई हैं. लेकिन, जिस प्रकार का उन्होंने मेरे लिए अपमानजनक शब्द का इस्तेमाल कर अपमानित किया और इसका शांतिपूर्ण विरोध कर रहे कुशवाहा भाइयों को पिटवाया वह निंदनीय है. वे अन्याय करना बंद करें.
अब सीधे पीएम मोदी से मिलेंगे कुशवाहा
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि आज सीट शेयरिंग में जो हो रहा है उससे रालोसपा अपमानित महसूस कर रही है. भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह से मुलाकात नहीं हुई. अब सीधे पीएम मोदी से मिलेंगे. पटना में बैठे लोग के चश्मा से वे देखेंगे तो वे भी न्याय नहीं कर पायेंगे. लेकिन, ध्यान रहे कि वर्ष 2014 लोकसभा चुनाव में हमारी पार्टी को तीन सीटे दी गयी और तीनों सीट हमने जीता. आज हम उससे भी मजबूत स्थिति में हैं और आज जनता के सहयोग से जनाधार भी बढ़ा है.
सीट शेयरिंग के मुद्दे पर 4 से 6 दिसंबर तक बाल्मिकीनगर में आयोजित बैठक में लिया जायेगा
सीट शेयरिंग पर जिस तरह हमारी पार्टी को अपमानित करने का खेल चल रहा है. उसे पार्टी बर्दाश्त नहीं करेंगी. क्योंकि, यह पार्टी अकेले की पार्टी नहीं है. इसलिए 30 नवंबर तक पीएम मोदी का निर्णय नहीं आता है तो 4 से 6 दिसंबर तक बाल्मिक नगर में बैठक आयोजित होगी और उसमें जो फैसला लिया जायेगा. उसी पर हमारी पार्टी चलेंगी. उन्होंने कहा कि वर्ष 2014 में एनडीए, भाजपा, जदयू के कुछ लोग नहीं चाहते थे कि नरेंद्र मोदी पीएम बने. भाजपा के एक नेता ने एक बिहार के नेता का नाम लेकर कहा था कि वे पीएम मेटेरियल है. लेकिन, रालोसपा ने नरेंद्र मोदी का नाम पहले प्रधानमंत्री पद के लिए लिया था. जिस पार्टी के व्यक्ति ने निमंत्रण देकर खाने की थाली को छीन लिया. उससे अधिक अपमान नहीं हो सकता और आज उसने हाथ मिला लिया. रालोसपा ऐसा नहीं कर सकती है.
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