मुंगेर. सरकार स्वास्थ्य संस्थानों में मरीजों को नि:शुल्क एंबुलेंस सुविधा उपलब्ध कराने के लिये मुंगेर जिले को कई हाईटेक एंबुलेंस उपलब्ध करा दिया है. साथ ही इसके लिये टोल फ्री नंबर 102 भी जारी किया है. जिसपर मरीज एंबुलेंस को फोन कर बुला सकते हैं. लेकिन सरकारी स्वास्थ्य संस्थानों में मरीजों को एंबुलेंस की सुविधा समुचित रूप में नहीं मिल पा रही है. कुछ ऐसा ही मामला मंगलवार को सदर अस्पताल में देखने को मिला. जहां धरहरा प्रखंड की एक महिला मरीज को उसके परिजन एंबुलेंस के इंतजार में प्राइवेट वाहन से ही लेकर सदर अस्पताल पहुंचे. दरअसल मंगलवार को धरहरा औड़ाबगीचा निवासी नरेश कुमार की 23 वर्षीय पत्नी निशा गुप्ता को अचानक श्वांस लेने में तकलीफ होने पर परिजन धरहरा सीएचसी लेकर गए. जहां चिकित्सक द्वारा निशा गुप्ता के गंभीर स्थिति को देखते हुये सदर अस्पताल रेफर कर दिया. मरीज की परिजन अंकिता कुमारी ने बताया कि मरीज की हालत गंभीर थी. टोल फ्री नंबर 102 पर कॉल कर उसके द्वारा सरकारी एम्बुलेंस को बुलाया गया. लेकिन फोन करने के आधे घंटे बाद तक एंबुलेंस स्वास्थ्य केंद्र नहीं पहुंची. जिसके बाद मजबूरन प्राइवेट मैजिक वाहन से निशा को इलाज के लिये सदर अस्पताल लाना पड़ा. जिसके लिये प्राइवेट वाहन को 1500 रूपये भी देना पड़ा. उसने बताया कि एंबुलेंस की सुविधा गंभीर मरीजों को अधिक होती है. ऐसे में समय पर ही एंबुलेंस नहीं मिलने से सरकार के इस सुविधा की उपयोगिता भी नहीं रह जाती है. इधर जब इस संबंध में सिविल सर्जन डॉ विनोद कुमार सिंहा से बात की गयी तो उन्होंने बताया कि मामले की जानकारी नहीं है. परिजनों द्वारा अबतक लिखित शिकायत नहीं की गयी है. हलांकि मरीज की हालत गंभीर रहने के कारण परिजन अपने मरीज के इलाज में व्यस्त रहे.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है