मोतिहारी. नगर निकाय चुनाव को ले विभागीय तैयारी के बीच अब यह स्पष्ट हो गया है कि बरसात बाद अक्तूबर-नवंबर तक ही चुनाव हो पायेंगे, जिसको ले आयोग व विभाग ने तैयारी शुरू कर दिया है. जिले के मोतिहारी सहित अन्य निकायों का कार्यकाल इसी माह में समाप्त हो रहा है. इस लिहाज से जून माह में ही चुनाव कराना चाहिए था, लेकिन अंतिम समय में नये नगर निकायों का गठन, मतदाता सूची व वार्डों के गठन में विलंब से ऐसा संभव नहीं हो पाया है.
बरसात में चुनाव कराने में कई तरह की परेशानी होगी. ऐसे में अक्टूबर-नवंबर में ही चुनाव कराये जाने की ज्यादा संभावना है. पूर्वी चंपारण में मोतिहारी नया नगर निगम बना, जिसकी आबादी करीब दो लाख 21 हजार है. वहीं चकिया नया नगर परिषद गठित हुआ है, जिसके साथ अरेराज, रक्सौल और सुगौली का कार्यकाल जून में समाप्त हो रहा है.
राज्य निर्वाचन आयोग द्वारा बाढ़ व बरसात में चुनाव कराने को ले मांगे गये रिपोर्ट में सुगौली, मोतिहारी और रक्सौल के कई इलाकों में जल जमाव व बाढ़ का उल्लेख किया गया है. जिला पंचायती राज पदाधिकारी सादिक अख्तर ने बताया कि रक्सौल का सीमावर्ती गांव व सुगौली का अधिकांश भाग बाढ़ की चपेट में आ जाता है.
वहीं नगर निगम मोतिहारी का अकौना, चैलाहां, दारोगा टोला, नंदपुर, मलकौनिया, जमला, लोकसा आदि में बाढ़ व जल जमाव की स्थिति रहती है. जिसको ले विभाग द्वारा आयोग को रिपोर्ट भेजी गयी है. विभाग का भी मानना है कि अक्टूबर-नवंबर में ही चुनाव कराना ठीक होगा.
जिन निकायों का कार्यकाल पूरा हो चुका है. वहां नगर आयुक्त कार्यपालक अधिकारी का जिम्मेवारी संभाल रहे है, जहां जनप्रतिनिधियों को मिलाकर समिति गठन का अब तक फैसला नहीं हुआ है. विभाग की माने तो सरकार द्वारा प्रशासक नियुक्त कर दिये जाने के बाद समिति का औचित्य नहीं होता है. वैसे विभाग का जो भी निर्णय होगा वह माना जायेगा.
नगर पालिका संशोधन नियमावली आने के बाद मेयर व डिप्टी मेयर पदों पर आरक्षण का प्रावधान लागू किया जाना है. नगर निगम क्षेत्र, नगर परिषद क्षेत्र और नगर पंचायत क्षेत्र में अलग-अलग आरक्षण का प्रावधान विभाग करेगी.
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