चंदन सिंह, मुजफ्फरपुर
मुजफ्फरपुर में विदेश जाने के लिए 2022 में 20 हजार 758 लोगों ने अपना पासपोर्ट बनवाया है. इसमें लगभग 30 प्रतिशत महिलाएं व छात्राएं शामिल हैं. कोरोना संक्रमण के कारण 2020 और 2021 में पासपोर्ट बनवाने की संख्या जहां, एक हजार से आसपास थी. उसमें इस साल दोगुनी से अधिक बढ़ोतरी देखी गई है. पासपोर्ट बनाने वाली अधिकांश महिलाएं घूमने व छात्राएं पढ़ाई करने जाने की बात कही है. वहीं, पुरुष काम को लेकर ही पासपोर्ट बनवाने का उद्देश्य बताया है. पुलिस कार्यालय से जारी आंकड़ों के अनुसार बताया गया है. जिला पासपोर्ट कार्यालय के अधिकारियों की मानें तो सबसे अधिक साहेबगंज, पारू, देवरिया और मोतीपुर इलाके के लोगों ने इस साल अपना पासपोर्ट बनवाया है. इनमें से अधिकांश 25 से 40 वर्ष के बीच युवा है.
रोजगार और पढ़ाई के लिए जाएंगे विदेश
बताया जा रहा है कि पासपोर्ट बनवाने वालों में ज्यादातर लोग रोजगार जैसे प्लंबर, ड्राइवर , बिजली टेक्नेशियर, मैकेनिक, लोहे का काम, कपड़े की फैक्ट्री समेत अन्य काम करने के लिए विदेश जा रहे हैं. शहर में पढ़ाई करने को लेकर छात्र – छात्राओं ने काफी संख्या में अपना पासपोर्ट बनवाने की बात कही है. इन देशों का पासपोर्ट बनवा रहे लोगसऊदी अरब, कुवैत, ईरान, मलेशिया, सीरिया, थाईलैंड ,कतर, नेपाल, ओमान, बहरीन, इंडोनेशिया, जॉर्डन, यूएसए, ऑस्ट्रेलिया , साउथ अफ्रीका, अमेरिका आदि देशों का ज्यादा पासपोर्ट बनवा रहे हैं.- ऑनलाइन आवेदन करने से हुई सहुलियतपासपोर्ट बनवाने के लिए ऑनलाइन सुविधा होने से विदेश जाने की इच्छा रखने वाले लोगों को काफी सहूलियत हुई है. अगर कोई व्यक्ति पासपोर्ट बनवाने के लिए ऑनलाइन आवेदन करता है तो उसकी 12 दिनों के अंदर में पुलिस वेरिफिकेशन हो जाती है. इसकी रिपोर्ट थाना के द्वारा रीजनल पासपोर्ट ऑफिस को भेज दिया जाता है. थानों में पासपोर्ट के सत्यापन को लेकर एक टैब दिया गया है. इससे थाने में पासपोर्ट सत्यापन में काफी सहुलियत हुई है.
बिहार में चार लाख से अधिक लोगों ने बनवाया पासपोर्ट
बिहार में इस साल लगभग चार लाख से अधिक लोगों ने पासपोर्ट बनवाया है. इसमें सबसे अधिक सिवान, गोपालगंज, पटना और मुजफ्फरपुर के 25 से 40 वर्ष के लोग है. आने वाले साल में इसकी संख्या में और बढ़ोतरी होने की संभावना है.वहीं, थानों में पासपोर्ट सत्यापन को लेकर अभी भी लोगों से 500 से हजार रुपये अवैध तरीके से वसूला जाता है. कई बार इसकी शिकायत थानेदार से लेकर एसएसपी तक की गई है. लेकिन, अभी इसपर पूरी तरह से रोक नहीं लगाई जा सकती है.