मोबाइल तकनीक की जानकारी पर चुप्पी साध गये एएसआइ

मुजफ्फरपुर : जिले में प्रोन्नत अधिकांश एएसआइ मोबाइल की बारीकी से अवगत नहीं हैं. इसका खुलासा पुलिस कार्यालय स्थित सभाकक्ष में दी जा रही ट्रेनिंग के दौरान हुई. एसएसपी विवेक कुमार के निर्देश पर रविवार को 22 नव प्रोन्नत एएसआइ को साइबर क्राइम के अनुसंधान के साथ ही अन्य कांडों की जांच, अनुसंधान, निष्पादन महत्वपूर्ण […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 20, 2017 10:22 AM
मुजफ्फरपुर : जिले में प्रोन्नत अधिकांश एएसआइ मोबाइल की बारीकी से अवगत नहीं हैं. इसका खुलासा पुलिस कार्यालय स्थित सभाकक्ष में दी जा रही ट्रेनिंग के दौरान हुई. एसएसपी विवेक कुमार के निर्देश पर रविवार को 22 नव प्रोन्नत एएसआइ को साइबर क्राइम के अनुसंधान के साथ ही अन्य कांडों की जांच, अनुसंधान, निष्पादन महत्वपूर्ण जानकारी के लिए रिफ्रेशर कोर्स का आयोजन किया गया था.
साइबर क्राइम रोकने और उसके अनुसंधान की जानकारी देने पहुंचे काजीमोहम्मदपुर थानेदार सह इंस्पेक्टर संजीव शेखर ने जब मोबाइल की तकनीकी जानकारी के संबंध में पूछा, तो हॉल में ट्रेनिंग के लिए आये सभी 22 एएसआइ ने चुप्पी साध ली. काफी पूछने पर एक एएसआइ ने मोबाइल में आइएमआइ कोड और इंटरनेट होने का जिक्र किया. ट्रेनर संजीव शेखर ने कहा आइएमआइ नहीं, उसे आइएमइआइ (इंटरनेशनल मोबाइल इक्यिप्मेंट आइडेंटिटी) कहा जाता है. मोबाइल में आइएमइआइ ही नहीं इएसएन (इक्यिप्मेंट सीरियल नंबर) नंबर भी होता है. इस नंबर को निर्माता कंपनी जारी करती है.
इन्होंने ली ट्रेनिंग : रविवार को 22 में से 19 नव प्रोन्नत एएसआइ संजय कुमार सिंह, अजीत कुमार सिंह, प्रेम कुमार यादव, अरुण कुमार पंडित, शंकर सिंह, तेजनारायण सिंह, देवनंदन प्रसाद यादव, रामानुज सिंह, राजू कुमार सिंह, तुरी बोदरा, सुनील कुमार सिंह, श्याम किशोर, मिनहाज अहमद खां, गिरींद्र प्रसाद सिंह, विवेकानंद सिंह, नारायण कुमार दुबे, विनोद कुमार, कौशलेंद्र कुमार, हंसनाथ प्रसाद हरिजन ने ट्रेनिंग ली. मुनेश्वर सिंह व अनिल कुमार यादव नहीं पहुंच सके.
केस के अनुसंधान व निष्पादन की जानकारी
रिफ्रेशर कोर्स के लिए पहुंचे एएसआइ को जिले के बोचहां थानेदार धनंजय कुमार व मनियारी के थानाध्यक्ष मिहिर कुमार ने केस के अनुसंधान, कांड व भूमि विवाद से संबंधित मामलों का निष्पादन, विधि व्यवस्था, लोक सूचना का अधिकार, लोक सेवा का अधिकार सहित अन्य एवं अन्य कार्यों के निष्पादन से संबंधित जानकारी दी. इस दौरान डायरी लेखन, अनुसंधान के क्रम में साक्ष्य संकलित करने, समयावधि के अंदर आरोप पत्र समर्पित करने, पर्यवेक्षी पदाधिकारी की अनुसंधान में भूमिका, वारंट, कुर्की व इश्तेहार न्यायालय से प्राप्त करने और उसका तामिला, मेमो ऑफ एविडेंस, गिरफ्तार अभियुक्तों का अग्रसारण, जब्ती सूची, जख्म प्रतिवेदन, मृत्यु समीक्षा रिपोर्ट तैयार करने की जानकारी भी दी गयी.

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